प्रदेश सरकार में पर्यटन मंत्री के बिगड़े बोल...कहा...मदरसों से निकलते हैं आतंकवादी... सरकारी फंड रोकने की मांग
पर्यटन और संस्कृति विभाग के मंत्री ने मदरसों के लेकर विवादित बयान दिया
मध्य प्रदेश सरकार में पर्यटन और संस्कृति विभाग की मंत्री उषा ठाकुर ने मदरसों के लेकर विवादित बयान दिया है. उषा ठाकुर ने मांग की है कि मदरसों में दिए जाने वाली सरकारी ग्रांट को बंद किया जाना चाहिए, क्योंकि सभी आंतकी मदरसों से ही निकले हैं. उषा ठाकुर ने राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ और कांग्रेस पर भी निशाना साधा. उन्होंने कहा कि कमलनाथ सरकार मंदिरों से जजिया कर्ज जैसा टैक्स वसूलती थी.
खून पसीने की गाढ़ी कमाई को जाया नहीं होने देंगे- उषा ठाकुर
इंदौर में एक प्रेस कांफ्रेंस में उषा ठाकुर ने कहा, ''मदरसों को शासकीय सहायता बंद होनी चाहिए, वक्फ बोर्ड अपने आप में खुद एक सक्षम संस्था है. अगर कोई पर्सनल तौर पर कोई मदद करना चाहता है तो हमारा संविधान उसकी इजाजत देता है, लेकिन हम खून पसीने की गाढ़ी कमाई को जाया नहीं होने देंगे. हम उस पैसे का इस्तेमाल विकास के काम में लगाएंगे.''
मदरसों से आतंकी बाहर निकलते हैं- उषा ठाकुर
मंत्री उषा ने मदरसों पर इल्ज़ाम लगाते हुए कहा, ''मदरसों में जिस तरह की शिक्षा दी जाती है उस हिसाब लगता है कि यहां से आतंकवादी ही बाहर निकलते हैं, तो क्यों न देश विरोधी गतिविधियां जो मदरसो में की जा रही हैं, उन्हें बंद किया जाए और जनता के खून पसीने की गाढ़ी कमाई का इस्तेमाल विकास के कामों किया जाए.''
मंत्री उषा ठाकुर ने पीसीसी चीफ और पूर्व सीएम कमलनाथ को घेरते हुए कहा, ''जिस तरह से कमलनाथ की 15 माह की सरकार में मंदिरों की आमदनी पर 10 प्रतिशत टैक्स लगाया था, वो एक तरह से जजिया कर के समान था. जबकि मंदिरों में चढ़ावे के जरिये मिलने वाली राशि का मंदिर के विकास सहित अन्य धार्मिक कार्यो में उपयोग होता है, लेकिन सरकारी खजाने को भरने के कमलनाथ सरकार ने एक तरह से जजिया कर लगाकर धार्मिक अखंडता को खंड खंड करने का प्रयास किया था.''
देश की एकता अखंडता को क्षिन्न भिन्न करना चाहते है कमलनाथ- उषा
वहीं धर्मांतरण के मामले में उषा ठाकुर ने कहा, ''कमलनाथ ही आदिवासियों से कहा था कि वो खुद को हिन्दू लिखना छोड़ दे जबकि वो अनादि काल से हिन्दू हैं, ऐसे में उनके ये कहने का क्या तुक है.'' उन्होंने सीधे कहा कि कमलनाथ देश की एकता अखंडता को क्षिन्न भिन्न करना चाहते है. उन्होंने कहा कि वफ्फ बोर्ड आर्थिक रूप से मजबूत है बावजूद कमलनाथ सरकार ने प्रदेश में इमाम और मौलवियों को 5 हजार तक वेतन दिया गया जो कि अन्य वर्गों के अधिकारों के छिना जाने जैसा है.
वहीं, कांग्रेस पर हमला बोलते मंत्री उषा ठाकुर ने कहा कि कांग्रेस सीएए का विरोध करती रही जबकि केंद्र सरकार ये कानून उन लोगो के लिए लाई जो कि पाकिस्तान में सताए जा रहे थे.
बीजेपी की तर्ज पर धार्मिक दिखाई देना चाहते हैं कमलनाथ- उषा
पूर्व सीएम कमलनाथ धार्मिकता को लेकर उषा ठाकुर ने कहा कि वो दिखावा है और उन्हें ये बात समझ मे आ गई है. कमलनाथ बीजेपी की तर्ज पर धार्मिक दिखाई देना चाहते हैं लेकिन वो कुछ भी करे जनता सब समझ चुकी है और 3 नवंबर को जनता उनको आइना भी दिखा देगी. इतना ही नही मंत्री इमरती देवी पर दिए गए आयटम वाले बयान पर मंत्री उषा ठाकुर ने कहा कि किसी भी महिला के लिए अपमानित शब्दो का प्रयोग अनुचित है और वे इसकी कड़ी भर्त्सना करती है.