ग्रामीणों ने नदी में तैरते देखे मवेशियों के शव, SDM ने दिए जांच के आदेश

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Update: 2022-02-05 13:41 GMT

उत्तर प्रदेश के कन्नौज में काली नदी और गंगा नदी के संगम के पास मृत मवेशियों के शव तैरते दिखे. उन शवों को कुत्ते और कौवे नोच रहे थे. शनिवार की सुबह जब कुछ लोग नदी में अपने पशुओं को नहलाने के लिए पहुंचे तो हर तरफ सिर्फ मवेशियों के शव ही नजर आ रहे थे. थोड़ी ही देर में यह सूचना पूरे जिले में आग की तरह फैल गई.

हर कोई काले तट पर पहुंचने लगा और दिल दहला देने वाले दृश्य को देखकर दंग रह गया. मौके पर अफसरों ने शव निकलवाकर दफनाने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. कन्नौज के जिलाधिकारी राकेश कुमार मिश्रा ने मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी की एक रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि शुक्रवार को संगम पर 37 मृत मवेशी तैरते पाए गए.
इनमें से 20 शव भैंसों के थे और बाकी अन्य गाय के शव थे. मौके पर पहुंचे एसडीएम भी शवों को देखकर हैरान हो गए थे. आनन फानन में एसडीएम ने आसपास की गौशालाओं में पहुंचकर पशुओं का मिलान किया.
एसडीएम का कहना है कि गौशालाओं में मवेशी पूरे हैं. अफसरों का कहना है कि मवेशियों के शव पीछे से बहकर आए हैं. उन्होंने बताया कि सभी शवों को निकलवाकर दफनाया जा रहा है. साथ ही उन्होंने पूरे मामले की गहनता से जांच कराने की बात भी कही है.
वहीं, हाल ही में यूपी से भी एक मामला सामने आया था जहां आवारा पशुओं से तंग आकर लोगों ने उन्हें एक सरकारी स्कूल के कमरे में बंद कर दिया था. दरअसल, उत्तर प्रदेश के कानपुर देहात में आवारा पशु लोगों के खेतों की फसल को बर्बाद कर रहे थे. इसी से तंग आकर लोगों ने यह कदम उठाया. उल्लेखनीय है कि पूरे उत्तर प्रदेश में आवारा मवेशियों के रख-रखाव के लिए अस्थाई गौशालाओं का निर्माण कराया गया था और सभी जिलों के अधिकारियों को सख्त आदेश दिया गया था कि अगर आवारा जानवर बाहर घूमते नजर आए तो अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
लेकिन कानपुर देहात से सामने आए इस मामले के बाद लगता है कि अधिकारियों पर सरकार के आदेश का कोई फर्क नहीं पड़ा. अधिकारियों की इस लापरवाही का नतीजा ग्रामीणों को भुगता पड़ रहा है. ग्रामीणों का कहना है कि यह आवारा जानवर उनकी फसलें बर्बाद कर रहे हैं जो उनके लिए चिंता का विषय है. वहीं, जानवरों के हमले से दो लोगों की मौत भी हो चुकी है.
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