नाविकों का कहना है कि यह पुलिसिया उत्पीड़न है. नाविक अब एक दिसंबर को नौका संचालन पर बड़ी बैठक करने की बात कह रहे हैं. दरअसल, वाराणसी में दशाश्वमेध क्षेत्र में नौका हादसा हुआ था. नाव का पटरा टूट जाने के बाद उसमें पानी भरने लगा था. इस दौरान नाव में मौजूद 34 लोगों की जान खतरे में पड़ गई थी. हालांकि, किसी तरह सभी को रेस्क्यू कर लिया गया था. फिर से ऐसा कोई हादसा न हो, इसके लिए पुलिस ने नौका चालकों के साथ बैठक की है. शहर के भेलूपुर क्षेत्र में डीसीपी काशी की तरफ से नाविकों के साथ बातचीत हुई. इस दौरान नाविकों को नौका संचालन से संबंधित मानक और सुरक्षा का ख्याल रखने की सख्त हिदायत दी गई.
बैठक खत्म होने के बाद नाविक समाज के नेता प्रमोद मांझी ने बताया कि बैठक सार्थक हुई. मगर, पुलिस का रवैया उचित नहीं था. उन्होंने बताया किसी भी तरह की दुर्घटना की जिम्मेदारी नाविक समाज लेने के लिए तैयार है. मगर, बचाव कार्य भी मल्लाह समाज ने किया फिर भी उनकी पीठ तक नहीं थपथपाई गई.