जयपुर: राजस्थान की राजनीति में कांग्रेस खेमे में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और सचिन पायलट के बीच खींचतान नई बात नहीं है. अब इनके बीच एक बार फिर 'निकम्मा' वाला बयान चर्चाओं में आ गया है. 'निकम्मा' वाले बयान पर सीएम गहलोत की प्रतिक्रिया आई है. उन्होंने कहा है कि वो बच्चा समझकर निकम्मा बोल देते हैं. कोई अपना गलती करता है तो उसे डांट लगाने के लिए बोलते हैं.
हाल ही में गहलोत ने केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत को निकम्मा बोल दिया था. खुद को निकम्मा बताए जाने पर शेखावत ने गहलोत पर तीखा हमला बोला था. उन्होंने कहा था कि राजस्थान के मुख्यमंत्री इन दिनों जिस भाषा का प्रयोग कर रहे हैं, ये किसी राज्य के मुखिया की नहीं हो सकती. वो गहरे मानसिक दबाव में हैं क्योंकि एक बार फिर उन्हें कुर्सी जाने का डर सता रहा है.
शेखावत ने कहा कि साल 2020 में जब गहलोत की कुर्सी पर संकट आया, तब भी उन्होंने सचिन पायलट के लिए ऐसी ही भाषा का इस्तेमाल किया था और नाकारा, निकम्मा जैसे शब्द बोले थे. पिछले दिनों जब राहुल गांधी ने सचिन पायलट की तारीफ कर दी तो गहलोत साहब को फिर कुर्सी पर संकट नजर आने लगा है. उसी दिन से वह बेचैन हैं.
शेखावत ने कहा कि पहले मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सचिन पायलट पर मुझसे मिलकर सरकार गिराने का षड्यंत्र रचने का आरोप लगाया था. जब इससे भी मन नहीं भरा, तो मेरे लिए भी उन्हीं शब्दों का प्रयोग करने लगे.
बता दें कि केंद्रीय मंत्री और सीएम गहलोत के बीच ईस्टर्न राजस्थान कैनाल प्रोजेक्ट (ERCP) को लेकर तनातनी चल रही है. राज्य के मुख्य सचिव को ERCP का काम रोकने की चिट्ठी भेजने के बाद CM गहलोत और केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत आमने-सामने हो गए हैं.
बीते दिनों सीएम अशोक गहलोत ने ERCP की मीटिंग में कहा था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ ऐसे-ऐसे निकम्मे मंत्री हैं कि उन्हें यही नहीं पता है कि पीएम क्या बोल रहे हैं. गहलोत का कहना था कि पीएम मोदी ने ERCP को लेकर बयान दिया है. उस मीटिंग में केंद्रीय मंत्री शेखावत मौजूद थे. लेकिन अब वे कहते हैं कि उन्होंने बात ही नहीं सुनी है.