यह कोई ऐसी पहली घटना नहीं है। पिछले साल उत्तर प्रदेश के बरेली में भी ऐसी घटना सामने आ चुकी है। बदायूं की लड़की बरेली में पढ़ाने आई थी। उसकी मुलाकात प्राइवेट सेक्टर में जॉब करने वाली दूसरी लड़की से हुई। दोनों में दोस्ती बढ़ती गई। दोनों साथ-साथ वक्त गुजारने लगीं। दोनों का प्रेम इस हद तक पहुंच गया कि उन्होंने साथ-साथ जीने-मरने की कसमें खाईं। दोनों के परिवार वालों को जब पता चला तो विरोध भी हुआ। परिवार वालों ने दोनों को समझाया। लड़कियों ने परिवार के विरोध को दरकिनार कर दिया। एक लड़की जेंडर परिवर्तन कराने के लिए तैयार हो गई।
डॉक्टरों के बारे में जानकारी जुटाई। यहां तक कि जटिल मेडिकल प्रक्रिया से गुजरकर एक लड़की ने अपना जेंडर बदलवा लिया। इसके बाद दोनों ने कानूनी राय भी ली। फिर, शादी के लिए जिला प्रशासन के सामने अर्जी भी डाली।