सरकारी गाड़ी का मोह, सीएम की नाराजगी के बाद SP एक्शन में, थानेदारों को दी ये हिदायत
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इंदौर. इंदौर के पश्चिम इलाके के एसपी महेशचंद जैन फिर चर्चा में हैं. इस बार उन्होंने थानेदारों को कह दिया है कि सरकारी गाड़ी से सैर सपाटा न करें. सरकारी गाड़ी सिर्फ सरकारी काम के लिए ही इस्तेमाल होगी.
इंदौर के पश्चिम इलाके के एसपी महेशचंद जैन ने अपने सभी थाना प्रभारियों के लिए एक लिखित आदेश जारी किया है. इसमें उल्लेख किया गया है कि वो अपनी पर्सनल गाड़ी से घर से थाने आए जाएं. हालांकि इसके पीछे उद्देश्य का भी जिक्र है कि सामान्य तौर पर थाना प्रभारी थाने से कई किलोमीटर दूर रहते हैं, इसलिए आने जाने में काफी वक़्त लगता है. अगर स्टाफ सरकारी गाड़ी से इतनी दूर आता जाता है तो गाड़ी का इलाके में मूवमेंट और गश्त कम होता है. स्पष्ट है कि इस आदेश के पीछे मंशा अपराध पर नियंत्रण और पुलिस की इलाके में सक्रियता बनाये रखना है.
गाड़ी साहब को लेने गयी है
शहर में कुछ समय पहले एक घटना के बाद इलाके में भारी भीड़ जमा हो गयी थी. भीड़ को तितर-बितर कर संदेहियों को थाने की गाड़ी में बैठाकर थाने पहुंचाने के निर्देश एसपी जैन ने वायरलेस सेट पर दिए थे. एसपी को थाने से जबाब मिला था कि थाने की गाड़ी साहब को लेने उनके घर गयी है. इस पर एसपी नाराज हुए थे और टीआई को निंदा की सजा दी थी. निंदा की सजा पुलिस सर्विस बुक में बतौर रिकॉर्ड रखी जाती है.
रोज दो केले
इससे पहले एसपी महेशचंद जैन ने सभी थाना प्रभारियों को आदेश दिया था कि वो पूरे स्टाफ को रोज दो केले खिलाएं. हालांकि दो दिन बाद ही ये आदेश निरस्त कर दिया था.
सीएम की नाराजगी के बाद एक्शन में अफसर
शहर में बीते दिनों अचानक अपराध बढ़ने पर सीएम ने भी नाराज़गी जाहिर की थी और उस पर जल्द नियंत्रण के निर्देश दिए थे. उसके बाद से ही शहर के सभी बड़े अधिकारी एक्शन मोड में हैं. एसपी पश्चिम ने सभी थाना प्रभारियों को शाम से लेकर रात तक सड़क पर बाइक पेट्रोलिंग करने के निर्देश दिए हैं. सुबह दस से रात 12 बजे तक थाना क्षेत्र में रहने के लिए कहा गया है. इसके साथ ही समय समय पर दोनों पुलिस अधीक्षक अचानक इलाके में अधिकारियो की चुस्ती का भी परीक्षण कर रहे हैं. लापरवाही पाए जाने पर पुलिस कर्मियों पर कार्रवाई की जा रही है.
सख्त हिदायत
एसपी महेशचंद जैन ने किसी भी अपराध की सूचना पर तत्काल मौके पर पहुंचने की हिदायत दे रखी है. बावजूद इसके पता चला कि थाने की गाड़ियां स्टाफ को लाने-ले जाने में ही लगी हुई हैं. इसलिए गश्त भी समय से नहीं हो पाती है. यही वजह है कि एसपी ने थाने से घर आने जाने के लिए सरकारी गाड़ी का इस्तेमाल न करने के निर्देश दिये हैं.