टूटी पटरी पर चलने वाली थी एक्सप्रेस, पप्पू ने लाल गमछा दिखाकर रोका
मामलें में रेलवे ने दिया बड़ा बयान

लखनऊ। प्रयागराज से लखनऊ जाने वाले गंगा गोमती एक्सप्रेस ग्रामीण की सूझबूझ से पलटने बच गई। शुक्रवार यानी 04 अगस्त को लाल गोपालगंज स्टेशन से पहले पिलर नंबर 26/6 के पास रेल पटरी टूटी मिली। गांव के एक ही किसान ने अपना लाल गमछा दिखाकर चालक को ट्रेन रोकने के संकेत दिए। चालक ने सूझबूझ का परिचय देते हुए ट्रेन को तत्काल रोक दिया। इससे बड़ा हादसा होने से बचा गया। घटना उत्तर रेलवे लखनऊ मंडल के प्रयागराज-लखनऊ रेल खंड की है। लालगोपालगंज रेलवे स्टेशन के पूर्वी केबिन के नजदीक पिलर नंबर 26/6 के पास सुबह लगभग साढ़े सात बजे जब गंगा गोमती एक्सप्रेस पहुंची तो वहां पटरी टूटी हुई थी। मौके पर पहुंचे इंजीनियरिंग विभाग के लोगों ने तत्काल पटरी पर काशन लगाकर ट्रेन को धीमी गति से आगे बढ़ाया गया। इस दौरान ट्रेन 46 मिनट खड़ी रही।
ट्रेन रूकवाने वाले पप्पू ने लाल गमछा दिखाकर ड्राइवर को संकेत न दिया होता तो शायद बड़ा हादसा हो सकता था। यही कारण था कि ट्रेन रोककर जब ड्राइवर नीचे उतरा तो सबसे पहले पप्पू के पास पहुंचा और उसकी पीठ थपथपाते हुए थैंक्यू बोला। भोला का पूरा के रहने वाले पप्पू ने कहा, मैं अपने खेत में काम करने के लिए घर से निकला था। रेलवे ट्रैक पार करते हुए अचानक मेरी नजर उस टूटी हुई पटरी पर गई तो मैं अलर्ट हो गया। जब तक गांव वालों को या अन्य किसी को सूचना देता तभी सामने प्रयागराज की तरफ गंगा गोमती ट्रेन आती दिखी। इसके बाद मैंने तुरंत अपना लाल गमछा डंडे में फंसाकर ट्रैक के किनारे खड़े होकर लहराने लगा। ट्रेन के लोको पायलट सुभाष सिंह ने बताया, लाल गोपाल गंज से पहले ट्रेन पहुंची तो एक ग्रामीण लाल रंग की झंडी दिखा रहा है। मुझे लगा कि कोई खतरा है। तत्काल मैंने ट्रेन रोक दी। फिर देखा ट्रैक में फ्रैक्चर था।