साली से रेप, डॉक्टर जीजा को हुई आजीवन कारावास की सजा

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Update: 2024-08-02 01:49 GMT

राजकोट rajkot news । गुजरात की पॉक्सो अदालत POCSO court ने नाबालिग के साथ दरिंदगी करने वाले उसके जीजा और एक रिश्तेदार को सजा सुनाई है। राजकोट जिले के उपलेटा कस्बे के एक क्वैक (झोलाछाप डॉक्टर) को अपनी नाबालिग साली का रेप करने के जुर्म में आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। इसके 16 महीने बाद अदालत ने बुधवार को क्वैक के एक रिश्तेदार को भी लड़की के साथ दुष्कर्म करने का दोषी ठहराया है। पुलिस ने दूसरे आरोपी की जांच तब शुरू की जब झोलाछाप डॉक्टर ने पोक्सो कोर्ट को बताया कि लड़की के मृत बच्चे का पिता ऑटोरिक्शा ड्राइवर है। इस तथ्य की पुष्टि बच्चे के अवशेषों को खोदकर निकालने के बाद डीएनए टेस्ट के बाद हुई। राजकोट के धोराजी के स्पेशल पॉक्सो जज एएम शेख की अदालत ने बुधवार को 24 साल के ऑटोरिक्शा चालक को दिसंबर 2020 में उपलेटा से राजकोट ले जाकर लड़की के साथ रेप करने का दोषी ठहराया। लड़की जिस झोलाछाप डॉक्टर के साथ रहती थी, उसे उसके साथ बलात्कार करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था।

कोर्ट ने भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 376 (2) (एन) (एक ही महिला के साथ बार-बार बलात्कार) और पॉक्सो अधिनियम की धारा 6 (गंभीर यौन उत्पीड़न) के तहत दोषी पाए जाने के बाद ऑटो ड्राइवर को आजीवन कारावास की सजा सुनाई और 5,000 रुपये का जुर्माना लगाया। हालांकि, अदालत ने उसे आईपीसी की धारा 363 (अपहरण) और 366 (एक महिला का उसकी इच्छा के विरुद्ध शादी करने के लिए मजबूर करने के इरादे से अपहरण करना) के तहत बरी कर दिया, क्योंकि नाबालिग ने अदालत को बताया कि ऑटोरिक्शा ड्राइवर ने उसका अपहरण नहीं किया था, बल्कि वह अपनी मर्जी से उसके साथ चली गई थी, जब झोलाछाप डॉक्टर को जेल और उसके पिता की मृत्यु हो गई। अभियोजन पक्ष के अनुसार, लड़की जो घटना के समय 14 साल की थी, वह और उसका छोटा भाई, बहन की झोलाछाप डॉक्टर संग शादी के बाद उसके साथ रहने लगे थे। उसके घर पर रहने के दौरान, क्वैक ने लगभग तीन साल तक उसके साथ बार-बार बलात्कार किया और उसे गर्भवती कर दिया। जब उसने झोलाछाप डॉक्टर के पड़ोसी से पेट दर्द की शिकायत की, तो उसने पुलिस को सूचित किया। इसके बाद, लड़की के पिता ने 2 जुलाई, 2020 को उसके खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराई। 42 वर्षीय क्वैक को 17 मार्च, 2023 को गिरफ्तार किया गया और अदालत ने उसे दोषी ठहराया।

इस दौरान, लड़की ने एक बच्चे को जन्म दिया, जिसे लेकर अभियोजन पक्ष ने कहा कि उसका पिता क्वैक है। हालांकि, बच्चे को जन्म देने के बाद, लड़की ऑटोरिक्शा ड्राइवर के साथ रहने लगी। एडिशनल लोक अभियोजक कार्तिकेय पारेख ने इंडियन एक्सप्रेस को बताया, 'ट्रायल के दौरान, 2023 में झोलाछाप डॉक्टर ने अदालत को बताया कि ऑटोरिक्शा ड्राइवर असली अपराधी है, वह लड़की को राजकोट लेकर गया और उसके साथ बलात्कार किया। इतना ही नहीं नाबालिग द्वारा जन्म दिए गए मृत बच्चे का पिता भी बना। उसने जेल से अदालत को इसे लेकर पत्र लिखा। इसके बाद, 19 जनवरी, 2023 को ऑटोरिक्शा ड्राइवर के खिलाफ केस दर्ज किया गया।' ड्राइवर की गिरफ्तारी के बाद, मृत बच्चे के शव को कब्रिस्तान से निकाला गया और डीएनए टेस्ट के लिए भेजा गया। इसके सैंपल नाबालिग लड़की और ऑटोरिक्शा चालक के नमूनों से मैच हो गए। पारेख ने कहा, 'हालांकि पीड़िता मुकदमे के दौरान अपने बयान से पलट गई, लेकिन उसने इस बात को माना कि ऑटोरिक्शा ड्राइवर और वह साथ रहते थे। यह देखते हुए कि वह सहमति की उम्र तक नहीं पहुंची थी, अदालत ने ड्राइवर को दोषी करार दिया और उसे 20 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई।'


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