खुलासा: भतीजे का हत्यारा निकला चाचा, नाले में फेंकने के लिए स्कूटी से ले गए शव

सनसनीखेज मामला

Update: 2021-05-12 16:26 GMT

नोएडा की कॉलोनी में सगे चाचा और चचेरे भाई ने पबजी खेलने के बहाने घर बुलाकर 11 साल के बच्चे का अपरहण कर उसकी गला दबाकर हत्या कर दी। वारदात के बाद आरोपियों ने बच्चे के शव को सेक्टर-62 नाले में फेंक दिया। पुलिस ने इस मामले में आरोपी चाचा और उसके बेटे सहित तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है।

फेज-3 स्थित चोटपुर कॉलोनी निवासी गरीबन एक कंपनी में काम करते हैं। उनके दो बेटे हैं। उनका 11 साल का बेटा अभिषेक मंगलवार शाम को अचानक लापता हो गया था। देर रात तक जब वह घर नहीं पहुंचा तो परिजनों ने उसकी तलाश शुरू की, लेकिन अभिषेक का कुछ पता नहीं चला। इसके बाद पुलिस को सूचना दी गई। पुलिस ने पीड़ित के साथ मिलकर कई जगहों पर बच्चे की तलाश की, मगर उसका सुराग नहीं लगा। फिर पुलिस ने पीड़ित से पूछा कि उन्हें किसी पर शक तो नहीं है। इस पर गरीबन ने बताया कि उसका भाई मनोज और भतीजा कुणाल उससे रंजिश रखते हैं। इसके बाद पुलिस ने मनोज, कुणाल और उनके पड़ोसी तौसिफ को हिरासत में लेकर उनसे सख्ती से पूछताछ की। पूछताछ के दौरान खुलासा हुआ कि आरोपियों ने बच्चे का अपहरण कर उसकी गला दबाकर हत्या कर दी थी। पुलिस ने आरोपियों की निशानदेही पर सेक्टर-62 के नाले से बच्चे का शव बरामद कर लिया। इसके बाद पुलिस ने अपहरण और हत्या का मुकदमा दर्ज करते हुए तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया।

पुलिस पूछताछ में सामने आया कि आरोपी कुणाल ने चोटपुर कॉलोनी में अपने घर पर ही अभिषेक का गला दबाकर उसकी हत्या की थी। मनोज और तौसिफ ने बच्चे के हाथ और पैर पकड़ रखे थे। इसके बाद तीनों आरोपियों ने रात में अभिषेक का शव बोरे में बंद किया और फिर उसे स्कूटी पर ले जाकर सेक्टर-62 नाले में फेंक दिया। इसके बाद अपने घर आ गए थे।

पूछताछ के दौरान कुणाल ने बताया कि वह अभिषेक को पबजी गेम खेलने के बहाने घर बुलाकर लाया था। फिर उसे अपने कमरे के अंदर ले गया। थाना प्रभारी ने बताया कि आरोपी पूर्व में भी अभिषेक की हत्या करने का प्रयास कर चुके थे। उस दौरान बच्चा आरोपियों के चंगुल से बच गया था। हालांकि, उस वक्त पुलिस को कोई शिकायत नहीं दी गई थी। वैसे तो पीड़ित की आर्थिक स्थिति ज्यादा अच्छी नहीं है, लेकिन वह अपने भाई मनोज से अच्छी स्थिति में है। इसी को लेकर मनोज और उसका बेटा कुणाल रंजिश रखते थे। अभिषेक का अपहरण करने के बाद आरोपी पीड़ित से फिरौती लेने की फिराक में थे। पीड़ित का दूसरा भाई बिहार में रहता है। वह उसकी आर्थिक मदद करता रहता है। आरोपियों ने साजिश रची कि यदि पीड़ित से कुछ नहीं मिला तो उसका बड़ा भाई फिरौती के पैसे दे देगा। हालांकि, इससे पहले ही पुलिस ने मामले का खुलासा कर दिया। पुलिस ने तीनों आरोपियों को कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया।

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