New Delhi. नई दिल्ली। राज्यसभा की कार्यवाही कल सुबह मंगलवार 11 बजे तक के लिए कार्यवाही स्थगित कर दी गई है। कल सुबह 11 बजे के बाद फिर से बैठक होगी।
संसद में माइक विवाद फिर चर्चा में है. सोमवार को संसद की कार्यवाही दोबारा शुरू होने पर नीट पेपर लीक का मुद्दा गरमाया. इस बीच, लोकसभा से लेकर राज्यसभा तक माइक बंद पर भी माहौल में तल्खी देखने को मिली है. लोकसभा में स्पीकर ओम बिरला ने माइक बंद पर फिर सफाई दी है. जबकि राज्यसभा में सभापति जगदीप धनखड़ ने कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी पर खुलकर नाराजगी जताई. आइए जानते हैं संसद के माइक पर हंगामा क्यों मचा है? किसके पास माइक के ऑन-ऑफ का कंट्रोल होता है और माइक को लेकर प्रोटोकॉल क्या है...
दरअसल, कांग्रेस ने शुक्रवार को दावा किया कि लोकसभा में NEET पेपर लीक का मुद्दा उठाते समय विपक्ष के नेता राहुल गांधी का माइक बंद कर दिया गया. विपक्ष ने इसके लिए सरकार को जिम्मेदार ठहराया. कांग्रेस ने अपने एक्स हैंडल पर एक वीडियो शेयर किया. इससे पहले भी कांग्रेस राहुल गांधी का माइक बंद किए जाने का दावा कर चुकी है. सोमवार को लोकसभा में माइक 'कंट्रोल' के आरोप पर स्पीकर बिरला ने विपक्षी सांसदों को पूरी बात बताई. बिरला का कहना था कि माइक का कंट्रोल मेरे पास नहीं होता है. आसन की व्यवस्था के अनुसार चलता है.
हर सांसद के लिए एक निर्धारित सीट होती है. माइक्रोफोन डेस्क से जुड़े होते हैं और उनका एक नंबर होता है. संसद के दोनों सदनों में एक चैंबर है, जहां साउंड टेक्निशियन बैठते हैं. यही कर्मचारी लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही को लिपिबद्ध और रिकॉर्ड करते हैं. इसी चैंबर में एक इलेक्ट्रॉनिक बोर्ड है, जिस पर सभी सीटों के नंबर लिखे होते हैं. माइक्रोफोन को वहां से चालू या बंद किया जा सकता है. चैंबर के सामने का हिस्सा कांच का है और यही टीम स्पीकर और सांसदों को बोलते हुए और सदन की पूरी कार्यवाही देखती है. निचले सदन (लोकसभा) के मामले में इसका संचालन लोकसभा सचिवालय के कर्मचारियों द्वारा किया जाता है. जबकि उच्च सदन (राज्यसभा) के मामले में इसका संचालन राज्यसभा सचिवालय के कर्मचारियों द्वारा किया जाता है.
कांग्रेस ने लगाया सांसद में जादू करने का आरोप
लोकसभा के पहले सत्र के दौरान कांग्रेस सांसद और नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने सोमवार (1 जुलाई) को सदन को संबोधित किया. इस दौरान राहुल गांधी ने सदन में भगवान शिव की तस्वीर दिखाई. इस पर बीजेपी के सांसद भड़क गए. दरअसल, स्पीकर ओम बिरला की ओर से पहले ही इसे लेकर राहुल गांधी को नियम बता दिए गए थे. हालांकि, राहुल गांधी ने स्पीकर से शिकायत की कि मुझे कैमरे से हटा दिया गया है. इस पर स्पीकर ने उन्हें एक मिनट रुकने के लिए कहा.
नेता विपक्ष राहुल गांधी को भगवान शिव की तस्वीर दिखाने पर स्पीकर ओम बिरला ने कहा कि आप प्रतिपक्ष के नेता हैं. मैं आपसे ये अपेक्षा करता हूं कि सदन की गरिमा बनी रहे. मर्यादा बनी रहे और नियमों का पालन हो. स्पीकर ने कहा कि आप खुद शिव जी को भगवान मानते हैं और बार-बार उनकों यहां पर इस तरह से चित्रित करना ये उचित नजर नहीं आता है. स्पीकर ओम बिरला ने कहा कि रूल नंबर 349 कहता है कि सभा में झंडे की प्रति या फिर कोई भी वस्तु प्रदर्शित नहीं करेंगे.
हालांकि, इससे पहले भी नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने लोकसभा में भगवान शिव को अपनी प्रेरणा बताते हुए तस्वीर लहराई. इस पर स्पीकर ओम बिरला ने उनको टोकते हुए नियम पुस्तिका निकाल ली थी. राहुल गांधी ने कहा कि हम शिवजी की तस्वीर भी नहीं दिखा सकते, आप मुझे रोक रहे हैं. इस दौरान उन्होंने राहुल गांधी की अभय मुद्रा का जिक्र किया. उन्होंने कहा कि कांग्रेस अभय मुद्रा में है. उन्होंने सभी धर्मों का जिक्र करते हुए कहा कि इनमें भी अभय मुद्रा दिखाई देती है.
उस दौरान जब राहुल गांधी ने लोकसभा में कहा कि शिव जी का चित्र इस सदन में मना है. अगर मैं कह रहा हूं कि मुझे इनसे प्रोटेक्शन मिली लेकिन आप मुझे रोक रहे हैं. इसके बाद मेरे पास और भी चित्र हैं, मैं सब दिखाना चाहता था. पूरा हिंदुस्तान इस चित्र को जानता समझता है. मैं इस तस्वीर को क्यों लाया क्योंकि इस तस्वीर में आइडिया टू डिफेंड है. शिवजी के गले में सांप हैं, इसके पीछे का मकसद है किसी ने डरना नहीं चाहिए. इसके बाद राहुल ने गुरु नानक की तस्वीर दिखाई. फिर शोर होने लगा.