नई दिल्ली: कांग्रेस नेता राहुल गांधी को 12 तुगलक लेन बंगला वापस मिला. लोकसभा की आवास सीमिति की ओर से कांग्रेस नेता राहुल गांधी की सदस्यता बहाल होने के बाद आज उन्हें पुराना सरकारी आवास 12 तुगलक लेन का बंगला वापस आवंटित कर दिया है.
राहुल गांधी को किस मामले में मिली राहत
यहां सबसे पहले यह जानने की जरूरत है कि आखिर राहुल गांधी को किस मामले में सुप्रीम कोर्ट से राहत मिली और फिर तीन दिनों के बाद संसद की सदस्यता बहाल हो गयी. दरअसल राहुल गांधी ने अप्रैल 2019 में कर्नाटक की एक रैली में मोदी सरनेम पर टिप्पणी करते हुए चोरों से जोड़ दिया था. उसके बाद बीजेपी विधायक पूर्णेश मोदी ने इसकी शिकायत की. शिकायत के चार साल के बाद मार्च 2023 में सूरत की कोर्ट ने राहुल गांधी को दोषी ठहराते हुए दो साल की सजा सुनाई. सजा सुनाये जाने के 26 घंटे बाद राहुल गांधी की संसद सदस्यता समाप्त कर दी गयी. इस फैसले को राहुल गांधी ने निजली अदालत में चुनौती दी, जिसे कोर्ट ने खारिज कर दिया. फिर राहुल ने फैसले का गुजरात हाई कोर्ट में चुनौती दी. वहां से भी राहुल गांधी को निराशा हाथ लगी. आखिरकार राहुल गांधी और कांग्रेस पार्टी ने फैसले को सुप्रीम कोर्ट में सुनौती दी. सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई करते हुए निजली अदालत के फैसले और हाई कोर्ट के सजा बहाली वाले फैसले पर सख्त टिप्पणी की और सजा पर रोक लगा दिया.
22 अप्रैल को राहुल गांधी ने सरकारी बंगला किया था खाली
मोदी सरनेम मामले में सजा मिलने के बाद कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने लुटियंस दिल्ली में स्थित अपना सरकारी आवास 22 अप्रैल को खाली कर दिया था. उसके बाद वह 12 तुगलक लेन स्थित सरकारी बंगला खाली करने के बाद अपनी मां सोनिया गांधी के आवास पर कुछ समय के लिए रहने चले गए थे. मानहानि के एक मामले में दोषसिद्धि के बाद लोकसभा की सदस्यता गंवाने के बाद राहुल को 22 अप्रैल तक यह बंगला खाली करने को कहा गया था. बंगला खाली करने के बाद राहुल गांधी ने कहा था कि उन्हें कहा था, मैंने सच बोलने की कीमत चुकाई, मैं कोई भी कीमत चुकाने को तैयार हूं. उन्होंने कहा कि वह महंगाई और भ्रष्टाचार का मुद्दा दोगुनी ताकत से उठाना जारी रखेंगे. बंगला खाली कर जाते समय राहुल ने कहा था, यदि यह मुझसे छीन लिया गया है, तो भी मुझे कोई दिक्कत नहीं है. यह घर मुझे भारत के लोगों ने दिया था.