जबलपुर। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 2 अक्टूबर, 2023 को राजस्थान और मध्य प्रदेश का दौरा करेंगे। प्रधानमंत्री सुबह लगभग 10:45 बजे राजस्थान के चित्तौड़गढ़ में लगभग 7,000 करोड़ रुपये की विभिन्न विकास परियोजनाएं राष्ट्र को समर्पित करेंगे और आधारशिला रखेंगे। प्रधानमंत्री दोपहर लगभग साढ़े तीन बजे ग्वालियर पहुंचेंगे जहां वह करीब 19,260 करोड़ रुपये की कई विकास पहलों का शिलान्यास करेंगे और राष्ट्र को समर्पित करेंगे।
प्रधानमंत्री चित्तौड़गढ़ में
गैस आधारित अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के लिए एक और कदम में, प्रधानमंत्री मेहसाणा - भटिंडा - गुरदासपुर गैस पाइपलाइन राष्ट्र को समर्पित करेंगे। इस पाइपलाइन का निर्माण लगभग 4500 करोड़ रुपये की लागत से किया गया है। प्रधानमंत्री आबू रोड में एचपीसीएल के एलपीजी प्लांट का भी लोकार्पण करेंगे। यह संयंत्र प्रति वर्ष 86 लाख सिलेंडरों की बॉटलिंग और वितरण करेगा तथा इससे सिलेंडर ले जाने वाले ट्रक यात्राओं की संख्या में प्रति वर्ष 0.75 मिलियन किमी की कमी आएगी, जबकि प्रति वर्ष लगभग 0.5 मिलियन टन कार्बन डाइ ऑक्साइड उत्सर्जन को कम करने में मदद मिलेगी। वह आईओसीएल के अजमेर बॉटलिंग प्लांट में अतिरिक्त भंडारण को भी राष्ट्र को समर्पित करेंगे।
प्रधानमंत्री एनएच-12 (नया एनएच-52) पर दराह-झालावाड़-तीनधार खंड पर 4-लेन सड़क का लोकार्पण करेंगे, जिसका निर्माण 1480 करोड़ रुपये से अधिक की लागत से किया गया है। यह परियोजना कोटा और झालावाड़ जिलों से खदानों के बीच उत्पादों के परिवहन की सुविधा प्रदान करेगी। इसके अतिरिक्त, सवाई माधोपुर में रेलवे ओवर ब्रिज (आरओबी) को दो लेन से चार लेन तक बनाने और चौड़ा करने की आधारशिला भी रखी जाएगी। इस परियोजना से सड़कों पर भीड़भाड़ की समस्या से राहत मिलेगी।
प्रधानमंत्री द्वारा राष्ट्र को समर्पित की जा रही रेलवे परियोजनाओं में चित्तौड़गढ़-नीमच रेलवे लाइन और कोटा-चित्तौड़गढ़ विद्युतीकृत रेलवे लाइन के दोहरीकरण से जुड़ी परियोजनाएं शामिल हैं। ये परियोजनाएं 650 करोड़ रुपये से अधिक की लागत से पूरी की गई हैं और इससे क्षेत्र में रेल बुनियादी ढांचा मजबूत होगा। वे राजस्थान में ऐतिहासिक स्थलों पर पर्यटन को भी बढ़ावा देंगे।
प्रधानमंत्री स्वदेश दर्शन योजना के तहत नाथद्वारा में विकसित पर्यटन सुविधाओं का लोकार्पण करेंगे। नाथद्वारा संत वल्लभाचार्य द्वारा प्रचारित पुष्टिमार्ग के लाखों अनुयायियों की आस्था का प्रमुख केंद्र है। नाथद्वारा में एक आधुनिक 'पर्यटक व्याख्या और सांस्कृतिक केंद्र' विकसित किया गया है, जहाँ पर्यटक श्रीनाथजी के जीवन के विभिन्न पहलुओं का अनुभव कर सकते हैं। इसके अतिरिक्त, प्रधानमंत्री कोटा के भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान का स्थायी परिसर भी राष्ट्र को समर्पित करेंगे।
प्रधानमंत्री ग्वालियर में
प्रधानमंत्री लगभग 19,260 करोड़ रुपये की कई विकास पहलों का लोकार्पण और शिलान्यास करेंगे।
देश भर में कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने की एक और पहल के रूप में, प्रधानमंत्री दिल्ली-वडोदरा एक्सप्रेसवे राष्ट्र को समर्पित करेंगे, जिसे लगभग 11,895 करोड़ रुपये की लागत से विकसित किया गया है। वह 1880 करोड़ रुपये से अधिक की पांच अलग-अलग सड़क परियोजनाओं की आधारशिला भी रखेंगे।
प्रधानमंत्री यह सुनिश्चित करने का निरंतर प्रयास करते रहे हैं कि हर किसी के पास अपना घर हो। इस विजन के अनुरूप, पीएमएवाई-ग्रामीण के तहत निर्मित 2.2 लाख से अधिक घरों के गृह प्रवेश का प्रधानमंत्री द्वारा शुभारंभ किया जाएगा। वह लगभग 140 करोड़ रुपये की लागत से पीएमएवाई-शहरी के तहत निर्मित घरों का भी लोकार्पण करेंगे।
सरकार का एक प्रमुख फोकस क्षेत्र सुरक्षित और पर्याप्त पेयजल उपलब्ध कराना है। इसी लक्ष्य को आगे बढ़ाते हुए प्रधानमंत्री ग्वालियर और श्योपुर जिलों में 1530 करोड़ रुपये से अधिक की जल जीवन मिशन परियोजनाओं का शिलान्यास करेंगे। इन परियोजनाओं से क्षेत्र के 720 से अधिक गांवों को लाभ होगा।
स्वास्थ्य बुनियादी ढांचे को और बढ़ावा देने वाले कदम में, प्रधानमंत्री आयुष्मान भारत स्वास्थ्य बुनियादी ढांचे मिशन के तहत नौ स्वास्थ्य केंद्रों की आधारशिला रखेंगे। इन्हें 150 करोड़ रुपये से अधिक की लागत से विकसित किया जाएगा। प्रधानमंत्री आईआईटी इंदौर के शैक्षणिक भवन का लोकार्पण करेंगे और परिसर में छात्रावास एवं अन्य भवनों की आधारशिला रखेंगे। इसके अतिरिक्त, प्रधानमंत्री इंदौर में मल्टी-मॉडल लॉजिस्टिक्स पार्क की आधारशिला रखेंगे। वह उज्जैन में इंटीग्रेटेड इंडस्ट्रियल टाउनशिप, आईओसीएल बॉटलिंग प्लांट, ग्वालियर में अटल बिहारी वाजपेयी दिव्यांग खेल प्रशिक्षण केंद्र सहित विभिन्न परियोजनाओं को भी राष्ट्र को समर्पित करेंगे।