ग्रेटर नोएडा के अन्य सेक्टर का भी हो विकास

Update: 2023-03-12 08:37 GMT

ग्रेटर नोएडा. UPSIDA सही मायने में सूरजपुर साइट सी ग्रुप हाउसिंग की सीवर की वर्षो से लंबित समस्या का हल निकालना चाहती तो कब की इस समस्या हल निकल गया होता। दरअसल UPSIDA ने पिछले कुछ वर्षो में हमेशा इस प्रोब्लम का टेंपररी सॉल्यूशन देने का ही काम किया हैं। जब भी यहां के निवासी इस प्रोब्लम की कंप्लेंट UPSIDA से करते थे तो UPSIDA,टेंपररी सॉल्यूशन देते हुए पंप मशीन या फिर सुपरसकर मशीन से सीवेज के पानी को इस एरिया के रोड पर से निकालती रही है।जब भी यहां के निवासियों ने इस प्रोब्लम का परमानेंट सॉल्यूशन देने को UPSIDA से कहा तो हमेशा UPSIDA बजट का रोना रोने लगती है।वर्तमान में इस एरिया में 6 सोसाइटी है जिसमे लगभग 5000 परिवार रहते है लेकिन UPSIDA की इस क्षेत्र के निवासियों के प्रति उदासीनता बनी हुई है, वही इसके विपरीत नोएडा एवम ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी जो UPSIDA की तरह यूपी की अन्य इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट ऑटोरिटी हीं है ,सेक्टर के विकास के लिए हर वर्ष करोड़ों अरबों रुपए की बजट खर्च करती है।

जब UPSIDA, NOIDA,GNOIDA & Yamuna अथॉरिटी सभी इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट के लिए ही बनाई गई थी और एक ही मंत्रालय के अंतर्गत आती है तो फिर सभी अथॉरिटी की पॉलिसी, बायलॉज एवम सेक्टर की इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट की पॉलिसी कैसे अलग अलग हो सकती है। कृप्या UPSIDA, यूपी का इंडस्ट्री मंत्रालय एवम उत्तर प्रदेश सरकार कृप्या इस मुद्दे पर ध्यान दे एवम एक मंत्रालय के अंतर्गत आने वाले सभी अथॉरिटी में एक ही बायलॉज एवम पॉलिसी लागू करें एवम सूरजपुर साइट सी ग्रुप हाउसिंग के सभी प्रकार के इंफ्रास्ट्रक्चर (सीवर लाइन, पार्क ,स्ट्रीटलिट्स सड़क ,मार्केट एवम मॉल के डेवलपमेंट एवम साफ सफाई,फ्यूमिगेशन, मैकनाइज्ड क्लीनिंग के लिए समुचित बजट आवंटित करे जिससे इस एरिया के विकास में बजट की कोई कमी ना हो और इस एरिया का समुचित विकास हो सके। अगर UPSIDA, मंत्रालय या फिर शासन को यह लगता है कि रेजिडेंशियल एरिया का डेवलपमेंट UPSIDA के बस की नही है,तो सिविक फैसिलिटीज के अभाव में यहां के निवासियों के नारकीय जीवन जीने को आधार मान कर ,सूरजपुर साइट सी ग्रुप हाउसिंग एरिया को ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी को सौप दिया जाए, जिससे इस एरिया का भी विकास ग्रेटर नोएडा के अन्य सेक्टर के जैसा हो सके।

 नोएडा के अन्य सेक्टर का भी हो विकास 

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