आपत्तिजनक व्हाट्सऐप मैसेज: आईपीएस अफसर पर लटकी कार्रवाई की तलवार, कहा- बेटी की गलती
सूबे के डीजीपी और एडीजी लॉ एंड आर्डर को लेकर आपत्तिजनक व्हाट्सऐप मैसेज फॉरवर्ड होने का खामियाजा आईपीएस विक्रांत वीर को भुगतना पड़ सकता है। उन पर कार्रवाई की तलवार लटक गई है। वाराणसी में डीसीपी के पद पर तैनात विक्रांत वीर से पुलिस कमिश्नर ए सतीश गणेश ने स्पष्टीकरण मांगा है। बताया जा रहा है कि पूरे मामले पर यूपी के आला अधिकारी भी खासे नाराज हैं। ऐसे में विक्रांत वीर पर कार्रवाई की तलवार लटक गई है।
वाराणसी के एक ग्रुप में विक्रांत वीर के अलावा कई प्रशासनिक अधिकारी और पत्रकार जुड़े हुए हैं। सोमवार की रात 12:56 बजे विक्रांत वीर के मोबाइल से ग्रुप पर 5 मैसेज फॉरवर्ड हुए। इन मैसेज में अन्य बातों के साथ लिखा था कि एडीजी लॉ एंड ऑर्डर को कहीं सीपी या अलग ब्रांच में भेजो। ये इधर से उधर बहुत कर रहा है। संजय प्रसाद, एसपी गोयल सबके सामने मुकुल गोयल और एडीजी लॉ एंड ऑर्डर को फटकार...। एडीजी लॉ एंड ऑर्डर को फटकार लगी। नए एडीजी लॉ एंड ऑर्डर के लिए बॉस ने डीजीपी और एसीएस होम को बोला है। एसीएस भी खाली हाथ। जिसने भी मैसेज देखा चौंक गया। इसी बीच आईपीएस ने मैसेज को डिलीट तो कर दिया लेकिन तब तक मैसेज दूसरे ग्रुपों में भी फॉरवर्ड हो चुके थे। मैसेज के स्क्रीन शॉट भी कई ग्रुपों में घूमने लगे।
करीब पौन घंटे बाद 1:35 बजे उसी ग्रुप में आईपीएस ने दो मैसेज लिखे और अधिकारियों को लेकर फॉरवर्ड मैसेज को बेटी की गलती बताया। उन्होंने लिखा कि इस नंबर से इस ग्रुप पर मेरी बिटिया के द्वारा खेलते समय कुछ मैसेजेज जो पूरी तरह से असत्य हैं, गलती से चले गए हैं। इनका पूरी तरह से खंडन है और इसका किसी भी प्रकार से सच्चाई से कोई वास्ता नहीं है। यह एक छोटी बच्ची का बचपना समझा जाए और इसे पूरी तरह से निराधार माना जाए। धन्यवाद... जय हिंद...। फिर दोबारा मैसेज किया कि किसी शरारती तत्व ने मेरे मोबाइल पर यह मेसेज भेजे, जो गलती से मेरी बिटिया के द्वारा फॉरवर्ड हो गए हैं।
पुलिस कमिश्नर ए. सतीश गणेश ने कहा कि किसी भी लोकसेवक को पब्लिक प्लेटफॉर्म पर सतर्क रहना चाहिए। अपने आचरण, व्यवहार और कृत्य को लेकर सजगता बरतने के साथ पुलिस बल की गरिमा के अनुसार सदैव अनुशासित रहना चाहिए। विक्रांत वीर के मोबाइल से व्हाट्सऐप ग्रुप पर मैसेज क्यों फॉरवर्ड हुए, इस संबंध में उनसे स्पष्टीकरण तलब किया गया है। स्पष्टीकरण के बाद इस संबंध में आगे का निर्णय लिया जाएगा। इसके साथ ही कमिश्नरेट के अफसरों और कर्मचारियों को ताकीद की गई है कि भविष्य में उनसे ऐसी कोई चूक न हो जो उनके साथ ही विभाग की किरकिरी का कारण बने।
आईपीएस विक्रांत वीर के मोबाइल से फॉरवर्ड हुए मैसेज सोशल मीडिया पर वाराणसी से लखनऊ तक वायरल हो गए। पूर्व आईपीए अमिताभ ठाकुर ने मैसेज के बहाने योगी सरकार पर निशाना साधते हुए ट्वीट किया कि आईपीएस विक्रांत वीर के इस कथित व्हाट्सएप चैट से योगी सरकार की हकीकत व ट्रासफर-पोस्टिंग का खेल और मनमानापन पूरी तरह सामने आ जाता है। यह है योगी राज की हकीकत, जिसमें चैट सामने आने के बाद विक्रांत वीर द्वारा तरह-तरह के बहाने बनाने की बात कही जा रही है।
प्रदेश के पुलिस और प्रशासनिक अफसरों के बीच आईपीएस विक्रांत वीर और उनके मोबाइल से फारवर्ड हुए मैसेज चर्चा का विषय बने हुए हैं। सबकी जुबान पर एक ही सवाल है कि आखिरकार उन्हें इस तरह के मैसेज भेजने वाला कौन है? विक्रांत वीर इससे पहले हाथरस कांड को लेकर चर्चा में आए थे। दलित युवती के साथ गैंगरेप और रात में अंत्येष्टि की घटना के बाद विक्रांत वीर को निलंबित कर दिया गया था। पांच महीने तक निलंबन झेलने के बाद उनकी पहली तैनाती वाराणसी में हुई है।