बिहार में संयुक्त कार्यकर्ता सम्मेलन से एनडीए के घटक दलों को मिली 'संजीवनी'!

Update: 2025-01-27 08:31 GMT

पटना। बिहार में एनडीए संयुक्त कार्यकर्ता सम्मेलन की सोमवार से दूसरे चरण की शुरुआत हो रही है। कई जिलों में पहले चरण के तहत कार्यकर्ता सम्मेलन की समाप्ति के बाद एनडीए कार्यकर्ताओं में उत्साह बढ़ा है तथा घटक दलों के कार्यकर्ताओं में आपसी तालमेल मजबूत हुआ है। कहा तो यहां तक जा रहा है कि घटक दलों में समन्वय बनाने के उद्देश्य से शुरू हुए इस संयुक्त कार्यकर्ता सम्मेलन से एनडीए को संजीवनी मिली है।

दरअसल, इस साल होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर सभी दलों ने अपनी तैयारी शुरू कर दी है। इसके तहत एनडीए घटक दलों ने 15 जनवरी से संयुक्त कार्यकर्ता सम्मेलन की शुरुआत की। पहले चरण में आठ जिलों में कार्यकर्ता सम्मेलन संपन्न हो गए हैं जबकि सोमवार से दूसरे चरण की शुरुआत हो रही है। जदयू के प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा ने कहा कि पहले चरण का सम्मेलन समाप्त हो गया है। दूसरे चरण की शुरुआत 27 जनवरी से होगी और तीसरे चरण के कार्यक्रम की शुरुआत छह फरवरी से होगी। उन्होंने कहा कि पहले चरण के दौरान एनडीए की एकजुटता से विपक्ष परेशान है। उन्होंने दावा किया कि 2025 में एक बार फिर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अगुवाई में हमारी सरकार बनेगी।

बताया जाता है कि जिस तरह एनडीए ने इस कार्यकर्ता सम्मेलन के जरिए एकजुटता का प्रदर्शन किया है, उससे एनडीए में टूट की अटकलों पर विराम लग गया है। इस सम्मेलन के जरिए घटक दलों के प्रदेश अध्यक्ष एक ही मंच से अपनी एकजुटता का प्रदर्शन करते हुए कार्यकर्ताओं से चुनावी तैयारी का आह्वान करते हैं। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष और मंत्री दिलीप जायसवाल कहते हैं कि एनडीए के सफल कार्यक्रम से विपक्ष हतोत्साहित है। इसलिए उनकी तरफ से अब बयानबाजी भी बंद हो गई है। पहले परिवार के एक सदस्य का बयान समाप्त होता था तो दूसरे सदस्य बयान देते थे, लेकिन मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने ऐसा ताला लगा दिया है कि अब राजद नेता बयान देना भूल गए हैं। उन्होंने दावा करते हुए कहा कि 225 सीट जीतना हमारा लक्ष्य है। उल्लेखनीय है कि एनडीए में फिलहाल पांच दल भाजपा, जदयू, हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा, लोजपा (रामविलास) और राष्ट्रीय लोक मोर्चा शामिल हैं।


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