गुजरात। भारतीय जनता पार्टी ने लगातार सातवीं बार गुजरात में चुनाव जीत लिया है. 1980 के बाद गुजरात में BJP के लिए यह सबसे बड़ी जीत है. 150 का टारगेट लेकर चल रही बीजेपी को गुजरात की जनता ने 156 सीटें दे दी हैं. ऐसा बंपर जनादेश गुजरात की धरती पर आज तक किसी को नहीं मिला और ये जनादेश तब मिला है जब 27 साल से गुजरात में बीजेपी की सरकार है.
गुजरात के नतीजे आने के बाद भी भाजपा के लिए खुशखबरी आने का क्रम जारी है. अब आम आदमी पार्टी के एक विधायक ने BJP को बाहर से समर्थन देने का ऐलान किया है. गुजरात के विसवादार से AAP के टिकट पर चुनाव जीतने वाले भूपत भायाणी ने अब बीजेपी का साथ देने का फैसला किया है. रविवार दोपहर तक यह सूचना थी कि भायाणी भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता ले लेंगे, लेकिन अचानक उन्होंने भाजपा की सदस्यता लेने से इनकार कर दिया और पार्टी को बाहर से ही समर्थन देने का ऐलान किया. उन्होंने कहा कि वो यह फैसला जनता से पूछने के बाद ही लेंगे.
दरअसल, अगर आम आदमी पार्टी के टिकट पर चुनाव जीतने वाले भायाणी BJP ज्वाइन करते हैं तो उन्हें विधानसभा की सदस्यता से इस्तीफा देना पड़ेगा. ऐसी स्थिति में उनकी सीट पर दोबारा चुनाव होंगे. इसलिए भायाणी ने पार्टी ज्वाइन किए बिना ही बीजेपी को बाहर से समर्थन देने का फैसला किया है. इसके अलावा 3 और निर्दलीय विधायकों ने भी बीजेपी को सपोर्ट करने का फैसला किया है. विधायकों के इस फैसले को शपथ ग्रहण से पहले भाजपा सरकार के लिए बेहद अच्छी खबर माना जा रहा है. समर्थन देने वाले 3 विधायकों में बायड़ से धवल झाला, धानेरा से मावजी देसाई और वाघोड़िया से धर्मेंद्र वाघेला शामिल हैं. धवलसिंह झाला और मावजी देसाई बीजेपी से टिकट नहीं मिलने के बाद निर्दलीय चुनाव लड़े थे और जीत भी गए.