कलयुगी मां बेटी का बनाना चाहती थी सेक्सी फिगर, करती थी ये घिनौनी हरकत

जानिए क्या है पूरा मामला

Update: 2023-06-04 16:43 GMT
आंध्र प्रदेश। एक मां ने अपनी 11वीं कक्षा में पढ़ने वाली बेटी के साथ अत्याचार किया है जो दिल को झंझकोर देगा। यह मामला आंध्र प्रदेश में सामने आया है। इस दुर्दशा में, मां ने अपनी बेटी को समय से पहले जवान दिखने के लिए हार्मोन्स की गोलियां खिलाईं। वारदात के अनुसार, मां ने पिछले 4 सालों से इस तरह का अत्याचार किया था। बच्ची ने शिकायत दर्ज की और इसके बाद उसे बचाने के लिए चाइल्डलाइन टीम ने कदम उठाए। इसके बाद लड़की को बचाया गया है। आरोप लगाने वाली बालिका ने कहा है, "मेरी मां ने मुझे कुछ टैबलेट की ओवरडोज दी है। जब मैं इन टैबलेट्स को लेती थी, तो मैं बेहोश हो जाती थी। अगले दिन मुझे अचानक बदल फूल जाते थे। यह बहुत दर्दनाक होता है। इससे मेरी पढ़ाई पर भी असर पड़ता है।" उसकी मां ने इसके अलावा बेटी को फिल्म निर्माता बनाने के दावे करने वाले किसी व्यक्ति के साथ अंतरंग होने के लिए भी धमकाया था। वह व्यक्ति उसके घर आया था।
बालिका ने अपनी शिकायत में कहा, "उस व्यक्ति ने मुझे इंटरमीडिएट पूरा करने के बाद फिल्म निर्देशकों और निर्माताओं के साथ काम करने के लिए तैयार करने की आवश्यकता है। जब मैं इसे नहीं करने के लिए इन दवाओं की लेने से मना करती हूं, तो मुझे मारती है। वह मुझे बिजली के झटके देने की धमकी भी देती थी।" इस मामले में राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग के अध्यक्ष केसली अप्पा राव नेतृत्व में बाल कल्याण समिति ने शुक्रवार को पुलिस अधिकारियों के साथ बालिका के घर की जांच की और उसे बचाया गया है। बालिका ने अपनी शिकायत में बताया है कि उसके पिता ने उसकी मां को तलाक दे दी थी और फिर वह किसी दूसरे व्यक्ति से शादी कर ली थी। उसकी शादी के कुछ साल बाद मां की मौत हो गई थी। बालिका ने बताया है कि पहले उसने 112 नंबर डायल किया, लेकिन कोई मदद नहीं मिली। बाद में उसने गुरुवार को किसी अन्य व्यक्ति की मदद से चाइल्डलाइन नंबर 1098 पर कॉल किया। आयोग ने इस नाबालिग की शिकायत को पुलिस को सौंप दिया है।
मां की बेटी के साथ इस तरह का व्यवहार बेहद दुःखद है और यह एक अत्यंत गंभीर मुद्दा है। ऐसे अपराधों की संज्ञा में यह अस्थायी जानकारी है और मैं इसे पूरी तरह से निष्पक्ष होने की कोशिश करूंगा। यदि आप इस मामले में जानकारी प्राप्त करना चाहते हैं, तो आपको स्थानीय खबरों और संबंधित अधिकारिक स्रोतों का सहारा लेना चाहिए। इस मामले में, बाल अधिकार संरक्षण आयोग के अध्यक्ष और बाल कल्याण समिति ने लड़की के रेस्क्यू का नेतृत्व किया है। इसके अलावा, आपकी जानकारी के अनुसार लड़की ने अपने पिता और माता के खिलाफ शिकायत दर्ज की है। मेरी सलाह है कि आप इस मुद्दे को गंभीरता से लें और उचित अधिकारिक विचाराधीनता और न्याय के रास्ते का पालन करें। अगर आप या कोई आपके पास जानकारी रखने वाले व्यक्ति इस मामले में पीड़ित हैं, तो विशेषज्ञ सलाह और संबंधित कानूनी प्रक्रिया का सहारा लें।
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