पीएम मोदी कैबिनेट में शामिल हो सकते हैं ज्योतिरादित्य और वरुण गांधी, लिस्ट में और भी कई नेताओं का नाम
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चार दिनों के भीतर भारतीय जनता पार्टी के शीर्ष पदाधिकारियों और मंत्रियों के दो अलग-अलग समूहों के साथ दो बैठकें की
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चार दिनों के भीतर भारतीय जनता पार्टी के शीर्ष पदाधिकारियों और मंत्रियों के दो अलग-अलग समूहों के साथ दो बैठकें की हैं। ऐसा माना जा रहा है कि लंबे समय से प्रतीक्षित केंद्रीय मंत्रिमंडल में फेरबदल की उलटी गिनती शुरू हो गई है। 30 मई 2019 से शुरू हुई मोदी सरकार की दूसरी पारी में यह पहला कैबिनेट फेरबदल होगा।
लोक जनशक्ति पार्टी के संस्थापक रामविलास पासवान और भाजपा के सुरेश अंगड़ी के निधन से एक कैबिनेट मंत्री और एक राज्य मंत्री का पद रिक्त है। एनडीए से बाहर निकलने के बाद शिरोमणि अकाली दल और शिवसेना के प्रतिनिधियों द्वारा खाली किए गए दो मंत्री पदों को भी भरने की जरूरत है। मंत्रिमंडल में कोई फेरबदल या विस्तार नहीं होने के कारण कई मंत्रियों के कंधों पर कई विभाग हैं। उदाहरण के लिए, रेल मंत्री पीयूष गोयल के पास वाणिज्य और उद्योग और खाद्य और उपभोक्ता मामले हैं, और कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर भी ग्रामीण विकास का मंत्रालय देख रहे हैं।
इससे पहले खबर आई थी कि प्रधानमंत्री ने मंत्रियों से मिलना और उनके काम की समीक्षा शुरू कर दी है। सूत्रों ने कहा था कि काम की समीक्षा के आधार पर खराब प्रदर्शन करने वाले मंत्रियों को मोदी कैबिनेट से हटा दिया जाएगा।
सूत्रों के मुताबिक कैबिनेट में नए चेहरों को शामिल किया जा सकता है। सूत्र यह भी कहते हैं कि चुनावी राज्यों से संबंधित राजनेताओं का प्रतिनिधित्व बढ़ सकता है। असम के पूर्व मुख्यमंत्री सर्बानंद सोनोवाल को दिल्ली बुलाया गया है। इस बीच, जहां तक नए शामिल होने वालों का सवाल है, उनमें ये नाम शामिल हैं:
ज्योतिरादित्य सिंधिया: पूर्व केंद्रीय मंत्री और चार बार के लोकसभा सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया ने मार्च 2020 में कांग्रेस छोड़ दी थी। गौरतलब है कि सिंधिया के दलबदल के कारण मध्य प्रदेश में कांग्रेस सरकार गिर गई थी।
दिनेश त्रिवेदी : तृणमूल कांग्रेस के पूर्व नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री दिनेश त्रिवेदी मार्च में बीजेपी में शामिल हुए थे। त्रिवेदी ने फरवरी में राज्यसभा और तृणमूल कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया था
भूपेंद्र यादव: भूपेंद्र यादव राजस्थान से भारतीय जनता पार्टी के राज्यसभा सांसद हैं।
अश्विनी बैष्णब: ओडिशा-कैडर के पूर्व आईएएस अधिकारी अश्विनी बैष्णब जून 2019 में भारतीय जनता पार्टी में शामिल हुए थे।
वरुण गांधी: मेनका गांधी और दिवंगत संजय गांधी के बेटे वरुण गांधी पीलीभीत से भारतीय जनता पार्टी के सांसद हैं।
जम्यांग त्सेरिंग नामग्याल: लद्दाख के सांसद जम्यांग त्सेरिंग नामग्याल को जुलाई 2020 में भाजपा की स्थानीय इकाई का प्रमुख नियुक्त किया गया था। नामग्याल 2019 में उस समय सुर्खियों में आए थे, जब उन्होंने जम्मू और कश्मीर के तत्कालीन राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित करने पर संसद में भाषण दिया था।