न्यायाधीश के बेटे ने किया सुसाइड, जेईई परीक्षा के परिणाम को लेकर था परेशान

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Update: 2024-04-26 01:59 GMT

यूपी। एनआईए कोर्ट के विशेष न्यायाधीश विवेकानंद त्रिपाठी के बेटे अजितेश (उम्र 18 वर्ष) ने गुरुवार तड़के बटलर पैलेस स्थित आवास में फांसी लगा ली। बुधवार को जारी जेईई मेंस 2024 के परिणाम में उसे सफलता नहीं मिली थी। पुलिस अभी इसे ही खुदकुशी की वजह मान रही है। परिवारीजनों ने अयोध्या में अजितेश के शव का अंतिम संस्कार कर दिया।

बटलर पैलेस में विवेकानंद त्रिपाठी परिवार के साथ रहते हैं। उन्होंने सुबह चार बजे इंस्पेक्टर हजरतगंज विक्रम सिंह को फोन कर बेटे के खुदकुशी की सूचना दी। इंस्पेक्टर विक्रम ने बताया कि पिछले साल अजितेश का जेईई में चयन हो गया था। तब उसे आईआईटी मुंबई में सिविल इंजीनियरिंग ब्रांच मिल रही थी। उसकी इच्छा कम्प्यूटर साइंस से बीटेक करना था। इस पर ही उसने प्रवेश नहीं लिया और इस साल फिर से जेईई दिया था। बुधवार को रिजल्ट आया तो उसका चयन नहीं हुआ था। इस पर वह काफी दुखी था। वह रात में कमरे में बंद हो गया। घरवालों ने दरवाजा तोड़ा तो अंदर अजितेश पंखे से लटकता मिला।

अजितेश परिणाम आने के बाद काफी दुखी था। वह रात में कमरे में गया और दरवाजा अंदर से बंद कर लिया। मां और अन्य परिवारीजनों ने कई बार दरवाजा खटखटाया लेकिन उसने कोई जवाब नहीं दिया। इस पर घर वालों ने दरवाजा तोड़ा तो अंदर अजितेश पंखे से लटकता मिला। घर वाले तुरन्त उसे नीचे उतार कर सिविल अस्पताल ले गये जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।

न्यायाधीश की सूचना पर पुलिस सुबह ही पहुंच गई थी। साथ ही जिला जज समेत कई न्यायिक अधिकारी व परिचित घर पहुंचे थे। गुरुवार सुबह परिवारीजन व रिश्तेदार उसका शव लेकर अयोध्या रवाना हो गये, जहां अंतिम संस्कार किया गया। विवेकानंद त्रिपाठी से देवरिया के रहने वाले हैं। एडीसीपी मध्य मनीषा सिंह ने बताया कि घर वालों ने अजितेश के शव का पोस्टमार्टम कराने से मना कर दिया था। लिहाजा कानूनी औचपारिकतायें पूरी कर शव परिवारीजनों को सौंप दिया गया।

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