लगातार तीसरे महीने बढ़ी महंगाई, बढ़ते बिल ने तोड़ी आम-आदमी की कमर

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Update: 2022-01-12 13:19 GMT

नई दिल्ली: रसोई में इस्तेमाल होने वाले राशन का बिल लगातार बढ़ता जा रहा है. महंगे होते खाने के तेल से आम आदमी की कमर टूट गई है. रही-सही कसर महंगे पेट्रोल और बिजली ने कर दी है. इसके चलते दिसंबर 2021 में खुदरा महंगाई दर 5.59% पर पहुंच गई है. ये भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा तय की गई महंगाई दर की अधिकतम सीमा के बेहद करीब का आंकड़ा है.

बढ़े खाने-पीने की चीजों के दाम
सांख्यिकी और कार्यक्रम क्रियान्वयन मंत्रालय ने बुधवार को खुदरा महंगाई दर (Retail Inflation Rate December 2021) के आंकड़े जारी किए हैं. इसके हिसाब से खाद्यान्न और राशन की कीमतों में बढ़ोत्तरी के चलते महंगाई दर बढ़ी है.खाद्य वस्तुओं की महंगाई दर दिसंबर में बढ़कर 4.05% हो गई है. जो नवंबर 2021 में 1.87% ही थी.
सस्ती हुई सब्जियां, खाने के तेल ने रुलाया
सरकार के आंकड़ों के हिसाब से दिसंबर 2021 में बीते साल दिसंबर की तुलना में सब्जियों की महंगाई दर घटी है और इसमें 2.99% की गिरावट दर्ज की गई है. जबकि इस अवधि में खाद्य तेलों की महंगाई दर 24.32% बढ़ गई है और ईंधन एवं बिजली की महंगाई दर भी 10.95% रही है.
लगातार तीसरे महीने बढ़ी महंगाई
इससे पहले नवंबर 2021 में खुदरा महंगाई दर 4.91%, अक्टूबर में 4.48% रही थी. जबकि सितंबर 2021 में ये अगस्त 2021 की तुलना में घटकर 4.35% पर आ गई थी. अगस्त 2021 में ये आंकड़ा 5.3% था. जबकि बीते साल दिसंबर 2020 में ये दर 4.59% थी.
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने महंगाई दर के लिए 4% का लक्ष्य तय किया है. इसमें 2% ऊपर और नीचे जाने का मार्जिन रखा गया है. इस तरह दिसंबर 2021 की खुदरा महंगाई दर रिजर्व बैंक की अधिकतम सीमा के बेहद करीब पहुंच गई है. जबकि महंगाई को कंट्रोल करने के लिए रिजर्व बैंक ने 9 बार से रेपो रेट और रिवर्स रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं किया है.
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