PM Security Breach पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई, केंद्र बोला - प्रदर्शनकारियों के साथ चाय पी रहे थे पुलिसवाले, वकील ने कहा- राज्य सरकार इस केस की जांच नहीं कर सकती

Update: 2022-01-07 06:05 GMT

Supreme Court Hearing PM Modi Security Breach: पंजाब के फिरोजपुर में पीएम मोदी की सुरक्षा में चूक मामले पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई. याचिकाकर्ता वकीलों की ओर से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता मनिंदर सिंह ने कहा, यह सिर्फ कानून-व्यवस्था का मामला नहीं है. यह संसद से पास SPG एक्ट के पालन का मामला है. इसे कोर्ट ने भी मंजूरी दी थी. एक्ट की धारा 14 कहती है कि केंद्र, राज्य और हर सरकारी विभाग को इसके आदेश का पालन करना होगा. मनिंदर सिंह ने कहा, एक पूर्व प्रधानमंत्री को भ्रष्टाचार के मामले में कोर्ट में पेश होना था.



हाई कोर्ट ने सुनवाई की जगह बदलने से मना कर दिया. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि SPG का दायरा हर जगह है. उसे अपनी सुरक्षा में रखे गए व्यक्ति की सुरक्षा से नहीं रोका जा सकता. खुद पीएम भी SPG को सुरक्षा से नहीं रोक सकते. पीएम को बठिंडा से फिरोजपुर जाते समय 20 मिनट रुकना पड़ा. यह बहुत गंभीर बात है. मैं राज्य सरकार पर टिप्पणी नहीं करना चाहता. इसकी जांच राज्य नहीं कर सकता. मनिंदर सिंह ने कहा, राज्य को विशेष रूप से जांच करने का अधिकार नहीं है (प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सुरक्षा का उल्लंघन) और यह कानून और व्यवस्था का मुद्दा नहीं है. राज्य सरकार ने जो जांच कमेटी बनाई है उसके अध्यक्ष एक बड़े घोटाले का हिस्सा थे. सुप्रीम कोर्ट ने 2011 में पंजाब पब्लिक सर्विस कमीशन में हुए भ्रष्टाचार में उस जज के आदेश को संदिग्ध मानते हुए पलट दिया था. सारे रिकॉर्ड कोर्ट के संरक्षण में लिए जाएं. बठिंडा के जिला जज या कोई और जज NIA के सहयोग से ऐसा करें.
मेरी मांग है:
सबूतों का संरक्षण हो
सही जांच हो
सुप्रीम कोर्ट निगरानी करे
ज़िला जज NIA का सहयोग लें
जवाबदेही तय हो
भविष्य के लिए निर्देश तय किए जाएं
वहीं सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा, मैं आभारी हूं कि कोर्ट ने इस गंभीर मामले का संज्ञान लिया. यह दुर्लभ मामला है. जब पीएम को सड़क मार्ग से जाना होता है तो SPG DGP से पूछती है. उनकी हरी झंडी के बाद ही यात्रा शुरू हो सकती है. जब सड़क पर ब्लॉक था तो मंजूरी क्यों दी गई.
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