सरकार की चेतावनी! गृह मंत्रालय ने कहा- इन कॉल, ई-मेल और मैसेज का न दें जवाब

Update: 2021-02-27 03:38 GMT

नई दिल्ली. कोरोना काल में देश में बैंकिंग फ्रॉड के मामले लगातार बढ़ते जा रहे है. जिसकी एक बड़ी वजह इस दौरान इंटरनेट बढ़ता इस्तेमाल भी है. जिसका फायदा साइबर अपराधी फ्रॉड करने के लिए उठा रहे हैं. आपको बता दें इन दिनों कोरोना के नाम पर ये फ्रॉड लोगों को ठगी का शिकार बना रहे हैं. इस बात की जानकारी गृह मंत्रालय ने जानकारी दी है. सरकार के एक ट्विटर हैंडल जिसका नाम साइबर दोस्त है, के जरिए लोगों को इस नए तरीके से सचेत किया गया है.

मंत्रालय ने लोगों को सचेत किया है कि वो इस तरह की कोई गलती न करें. साथ ही कहा है कि आपके पास आने वाले किसी भी कॉल, मैसेज या ई मेल पर आने वाले किसी भी लिंक को क्लिक न करें.
इस तरह के मामले पिछले कुछ वर्षों में ज्यादा सामने आए हैं. सरकार और बैंकों ने यह बीड़ा उठाया कि वो लोगों को साइबर क्राइम के लिए सचेत किया जाएगा. लेकिन फिर भी इस तरह के क्राइम बंद नहीं हो रहे हैं. साइबर क्रिमनल लोगों को लूटने के लिए कई तरीके अपनाते हैं.


सावधान रहें, साइबर अपराधी कोविड-19 का हवाला देकर चमत्‍कारी इलाज, हर्बल उपचार, टीके, त्वरित जांच आदि जैसी आकर्षक पेशकश करके ग्राहकों को लुभा सकते हैं। चिकित्सा परामर्श देने एवं तत्काल भुगतान करने का आग्रह करने वाले संदिग्ध /अवांछित कॉल, ई-मेल अथवा टैक्स्ट का जबाव न दें।
आपको बता दें कि इस लिंक पर क्लिक कर हैकर्स आपकी सभी जानकारी चुरा सकते हैं. ऐसे में कभी भी ऐसे किसी लिंक पर क्लिक न करें क्योंकि कई बार लोग बिना सोचे समझे लिंक पर क्लिक कर देते हैं और हैकर्स उनकी जानकारी हासिल कर लेते हैं. गृह मंत्रालय ने की तरफ से साइबर दोस्त के जरिए जो ट्वीट किया गाय है उसमें इस मैसेज का प्रारूप दिखाया गया है. अगर आपको भी ऐसा कोई मैसेज रिसीव होता है तो इसकी शिकायत तुरंत साइबर क्राइम पुलिस में करें. साथ ही मैसेज में दिए गए किसी भी लिंक पर क्लिक न करें.
फर्जी मैसेज से कैसे बचें? सरकार की ओर से समय समय पर फेक मैसेज के बारे में अलर्ट जारी किया जाता है. इसके साथ ही आपको किसी अनजान नंबर से आए मैसेज पर भरोसा नहीं करना चाहिए और ऐसे मैसेज को फॉरवर्ड करने से बचना चाहिए. जिससे कोई ओर यूजर फ्रॉड का शिकार न हो.
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