सरकार ने यूपी, एमपी समेत इन चार राज्यों में 'मेडिकल उपकरण पार्क' लगाने की दी मंजूरी

आत्मनिर्भर भारत और मेक इन इंडिया के प्रोत्साहन की दिशा में एक और महत्वपूर्ण फैसला लेते हुए सरकार ने चार राज्यों में मेडिकल उपकरण पार्क लगाने की सैद्धांतिक मंजूरी दे दी।

Update: 2021-09-24 15:40 GMT

नई दिल्ली। आत्मनिर्भर भारत और मेक इन इंडिया के प्रोत्साहन की दिशा में एक और महत्वपूर्ण फैसला लेते हुए सरकार ने चार राज्यों में मेडिकल उपकरण पार्क लगाने की सैद्धांतिक मंजूरी दे दी। इन राज्यों में उत्तर प्रदेश, हिमाचल प्रदेश, मध्य प्रदेश व तमिलनाडु शामिल हैं। इन चार पार्क के निर्माण के लिए केंद्र सरकार की तरफ से 400 करोड़ रुपये दिए जाएंगे और केंद्र व राज्य के सहयोग से इन मेडिकल उपकरण पार्क को विकसित किया जाएगा। इन पार्क के निर्माण से मेडिकल उपकरण के घरेलू निर्माण में बढ़ोतरी होगी और मेडिकल उपकरण के लिए आयात पर भारत की निर्भरता कम होगी। अभी देश में खपत होने वाली 70 फीसद से अधिक मेडिकल उपकरणों का आयात किया जाता है।

राज्यों के चयन के लिए तय किए गए थे मानक
केमिकल मंत्रालय के मुताबिक केंद्र सरकार की स्कीम के तहत 16 राज्य एवं केंद्र शासित प्रदेशों ने अपने-अपने राज्यों में पार्क विकसित करने की इच्छा जाहिर की थी। राज्यों के चयन के लिए कई मानक तय किए गए थे। उन मानकों के आधार पर ही उत्तर प्रदेश, हिमाचल प्रदेश, मध्य प्रदेश और तमिलनाडु का चयन किया गया है। इन मानकों में राज्यों की तरफ से उपलब्ध कराई जाने वाली सुविधा के साथ पार्क में लगने वाली मैन्यूफैक्चरिंग यूनिट को दिए जाने वाले इंसेंटिव को शामिल किया गया था।
विश्व स्तरीय कामन इन्फ्रास्ट्रक्चर सुविधाएं होगी उपलब्ध
मंत्रालय के मुताबिक मेडिकल उपकरण पार्क में विश्व स्तरीय कामन इन्फ्रास्ट्रक्चर सुविधा होगी। इनमें स्टैंडर्ड टेस्टिंग से लेकर अन्य सुविधाएं शामिल होंगी। इससे उपकरण निर्माण की लागत में कमी आएगी और घरेलू बाजार में सस्ते मेडिकल उपकरण मिलेंगे। एक पार्क को 100 करोड़ रुपये दिए जाएंगे और इनमें से 70 फीसद राशि कामन इन्फ्रास्ट्रक्चर पर खर्च की जाएगी। मेडिकल उपकरण पार्क के अलावा बल्क ड्रग पार्क के लिए भी राज्यों का चयन किया जाना है। आपसी प्रतिस्पर्धा के आधार पर बल्क ड्रग पार्क के लिए भी राज्यों का चयन किया जाएगा।
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