सीकर। हसामपुर की पहाड़ी पर स्थित मनसा माता मंदिर में नवमी तिथि को सिद्धिदात्री देवी के अभिषेक के साथ नवचंडी पूजा शुरू की गई। तंवरवाटी के इतिहास के अनुसार मनसा माता मंदिर दसवीं और ग्यारहवीं शताब्दी का प्राचीन मंदिर बताया जाता है। यहां भक्त देवी के तीन पिंडी स्वरूपों में दर्शन कर सकते हैं। यहां नवरात्रि के दौरान प्रतिपदा से नवमी तक दूर-दूर से हजारों श्रद्धालु आते हैं और देवी मां की पूजा-अर्चना कर उनसे प्रार्थना करते हैं।
मंदिर महंत केशव भारद्वाज के सानिध्य में नवचंडी का आयोजन किया गया। आचार्य अनिल शर्मा एवं संजय मिश्र शास्त्री ने बताया कि भागवत, विष्णु पुराण एवं वेदों में मनसा देवी को नागकन्या बताया गया है। इस मौके पर अष्टमी की रात हवन का आयोजन किया गया और 121 कन्याओं को भोजन कराया गया. इस मौके पर विजय हसामपुर, निखिल अग्रवाल, सांवर मल, ज्ञानचंद, मूलचंद यादव, धर्मपाल यादव, कमल, कपिल अग्रवाल, विजय अग्रवाल दिल्ली, राकेश मंगल व राजेश ने सेवाएं दीं।