IL&FS घोटाले में मास्टरमाइंड के पूर्व चेयरमैन रवि गिरफ्तार, जानें पूरा मामला
IL&FS घोटाले में मास्टरमाइंड के पूर्व चेयरमैन रवि गिरफ्तार
नई दिल्ली. एक लाख करोड़ रुपये के IL&FS घोटाले के मास्टरमाइंड और इंफ्रास्ट्रक्चर लीजिंग एंड फाइनैंशियल सर्विसेज (IL&FS) के पूर्व चेयरमैन रवि पार्थसारथी को शुक्रवार को चेन्नई पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा (EOW Chennai) ने गिरफ्तार कर लिया. इकोनॉमिक ऑफेंस विंग (EOW) ने कहा कि पूर्व चेयरमैन रवि पार्थसारथी के नेतृत्व में IL&FS फ्रॉड करने का अड्डा बन गया था.
चेन्नई पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा ने अपने बयान में कहा कि रवि पार्थसारथी को 63 मून्स टेक्नोलॉजी लिमिटेड (63 Moons Technologies Ltd) कंपनी द्वारा की गई शिकायत के मामले में गिरफ्तार किया गया है. मालूम हो कि इस 1 लाख करोड़ रुपये के घोटाले में 63 Moons Tech का 200 करोड़ रुपये डूब गया था. इसके अलावा भी कई कंपनियों ने केस दर्ज कराया है जिनके पैसे डूब गए. EOW ने कहा कि IL&FS के पूर्व चेयरमैन रवि पार्थसारथी को 15 दिनों की पुलिस कस्टडी में भेजा गया है जहां उससे पूछताछ होगी. साथ ही उसके जमानत के मामले पर सोमवार को मद्रास हाईकोर्ट में सुनवाई होगी. इनेक खिलाफ ED भी फाइनेंशियल फ्रॉड के कई मामलों की जांच कर रही है.
पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम का करीबी बताया जाता है रवि
आपको बता दें कि पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम के करीबी रहे रवि पार्थसारथी को आर्थिक अपराध शाखा ने 1 लाख करोड़ रुपये के घाटाले का मास्टरमाइंड बताया है. अपने बयान में EOW ने कहा कि IL&FS की 350 से अधिक कंपनियों को रवि पार्थसारथी के नेतृत्व में तत्कालीन मैनेजमेंट ने घोटाला और जालसाजी करने के व्हीकल के रूप में इस्तेमाल किया.
IL&FS ग्रुप पर कुल 91,000 करोड़ रुपये का कर्ज
IL&FS ग्रुप पर कुल 91,000 करोड़ रुपये का कर्ज है. इस समूह की कई कंपनियों ने बैंकों का कर्ज भी नहीं चुकाया है. पार्थसारथी के खिलाफ ED ने भी मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत जालसाजी, घोखाधड़ी और वित्तीय अनियममितता के साथ फाइनेंशियल फ्रॉड का केस दर्ज किया है.
इन मामलों में दर्ज किया मुकदमा
रवि पार्थसारथी पर आय की गलत जानकारी देने, संदिग्ध लेनदेन, हितों का टकराव के मामले में मुकदमा दर्ज किया गया है. इसके अलावा आर्थिक अपराध शाखा भी इस मामले में जांच कर IPC की विभिन्न धाराओं के तहत EOW ने मामला दर्ज किया है, जिस मामले में आज रवि पार्थसारथी की गिरफ्तारी हुई है.
2018 में हुआ था घोटाला उजागर
IL&FS में हुए घोटाले की जानकारी साल 2018 में सामने आई जब IL&FS और उसकी सहायक कंपनियों ने नकदी संकट की वजह से कर्ज के भुगतान में देरी की. आईएलएंडएफएस कई सरकारी प्रोजेक्ट्स से जुड़ी है और इसने अपना अधिकांश कर्ज भी सरकारी कंपनियों को ही दिया है.