गैंगस्टर अतीक अहमद के शूटर के 5 साथी गिरफ्तार, लाखों के हथियार जब्त

मामलें में हो रहे खुलासे

Update: 2023-03-24 18:07 GMT
प्रयागराज। यूपी के प्रयागराज में 18 साल पहले हुए राजू पाल हत्याकांड में आरोपी माफिया अतीक अहमद का शूटर अब्दुल कवि फरार चल रहा है. इसी संबंध में कौशांबी पुलिस को अब्दुल के जंगल में छुपे होने की सूचना मिली थी. इस पर एसपी बृजेश कुमार श्रीवास्तव ने टीम का गठन कर सर्च ऑपरेशन का निर्देश दिया. इसमें तीनों सर्किल के सीओ, 10 थाने की फोर्स और पीएएसी के जवान थे. करीब पांच घंटे चले ऑपरेशन में अब्दुल को शरण देने वाले 5 लोग अरेस्ट किए गए. इनके पास से 8 लाइसेंसी रायफल, बंदूक, एक तमंचा और भारी मात्रा में कारतूस बरामद हुए. आरोपियों के खिलाफ केस दर्ज किया जा रहा है.
गौरतलब है कि प्रयागराज के धूमनगंज थाना क्षेत्र के नीवा गांव निवासी तत्कालीन बसपा विधायक राजू पाल की 25 जनवरी 2005 को शहर में हत्या कर दी गई थी. इस मामले में माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ सहित 18 से अधिक लोगों का नाम सामने आया था. उनकी पत्नी पूजा पाल ने मामले में इन लोगों के खिलाफ केस दर्ज कराया था. आरोप है कि पुलिस ने विवेचना कर अदालत में चार्जशीट दाखिल कर दी थी और केस को ठंडे बस्ते में डाल दिया था. इस पर पूजा पाल ने शासन से सीबीआई जांच की मांग उठाई. शासन के निर्देश पर सीबीआई ने जांच की तो कौशांबी के सरायअकिल थाना क्षेत्र के भखंदा निवासी अब्दुल कवि का भी नाम सामने आया. सीबीआई की विवेचना के बाद अब्दुल कवि के खिलाफ भी केस दर्ज हुआ लेकिन 18 साल से वो सीबीआई, एसटीएफ और पुलिस को चकमा देकर फरार है.
हाल ही में अब्दुल के भाई अब्दुल कादिर को पुलिस ने अवैध असलहों के जखीरे के साथ पकड़ा था. केस दर्ज करने के बाद उसे जेल भेज दिया गया था. पुलिस ने अब्दुल पर 50 हजार का इनाम भी घोषित किया था. इसी बीच एसपी बृजेश कुमार श्रीवास्तव को मुखबिर से सूचना मिली कि अब्दुल यमुना की तराई में छुपा है. उन्होंने अपर पुलिस अधीक्षक समर बहादुर सिंह के नेतृत्व में सर्च ऑपरेशन के लिए टीम गठित की. अपर पुलिस अधीक्षक समर बहादुर सिंह चायल, सिराथू, मंझनपुर क्षेत्राधिकारी, पीएसी एवं 10 थाने की फोर्स ने भखंदा सहित यमुना की तराई में पहुंचकर सर्च ऑपरेशन शुरू किया. यहां अब्दुल के कई सगे संबंधियों के यहां छापेमारी की गई तो हथियारों का जखीरा बरामद हुआ. पुलिस ने गांव के निजामुद्दीन, अजमल, शाहिद उर्फ राजू, बिलाल एवं मोहम्मद असलम को गिरफ्तार किया है. हैरानी की बात यह है कि जिन लोगों के पास से असलहे मिले हैं, उनसे से एक भी शख्स के नाम पर असलहा दर्ज नहीं है. पुलिस को शक है कि बरामद असलहे चोरी के हैं.
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