किसानों का दिल्ली मार्च शुरू, सभी बॉर्डरों को Police ने घेरा, भीषण जाम की स्थिति

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Update: 2024-12-02 05:57 GMT

नई दिल्ली: संयुक्त किसान मोर्चा के नेतृत्व में आज यानी सोमवार को हजारों किसान नोएडा से दिल्ली की तरफ कूच करने की तैयारी में हैं. नोएडा से दिल्ली में संसद भवन तक विरोध मार्च निकालेंगे, जहां शीतकालीन सत्र चल रहा है. वे नए कृषि कानूनों के तहत मुआवजे और लाभ की अपनी पांच प्रमुख मांगों पर जोर देंगे. किसानों के विरोध प्रदर्शन के चलते पुलिस ने दिल्ली-एनसीआर में बैरिकेड लगाने और रूट डायवर्ट करने सहित सुरक्षा उपाय बढ़ा दिए हैं.

किसानों के हल्लाबोल के देखते हुए दिल्ली बॉर्डर के आस-पास चार हजार से ज्यादा पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया है.
कालिंदी कुंज के यमुना ब्रिज पर भीषण जाम
किसान आंदोलन की वजह से रूट डायवर्जन
चिल्ला बॉर्डर से ग्रेटर नोएडा की तरफ जाने वाले लोग सेक्टर 14ए फ्लाईओवर, गोलचक्कर चौक, सेक्टर 15, संदीप पेपर मिल चौक और झुंडपुरा चौक से होकर अपने डेस्टिनेशन तक पहुंच सकते हैं. डीएनडी बॉर्डर से दिल्ली जाने वाले लोग फिल्म सिटी फ्लाईओवर से सेक्टर 18 होते हुए अपने डेस्टिनेशन तक पहुंच सकते हैं.
कालिंदी बॉर्डर दिल्ली से आने वाले लोग महामाया फ्लाईओवर से सेक्टर 37 होते हुए निकल सकते हैं. ग्रेटर नोएडा से दिल्ली जाने वाले लोग चरखा गोल चक्कर से कालिंदी कुंज होते हुए निकल सकते हैं.
ग्रेटर नोएडा से दिल्ली की तरफ जाने वाले लोग हाजीपुर अंडरपास से कालिंदी कुंज होते हुए सेक्टर 51 से सेक्टर 60 होते हुए मॉडल टाउन होते हुए निकल सकते हैं.
यमुना एक्सप्रेसवे से होते हुए दिल्ली जाने वाले लोग जेवर टोल से खुर्जा और जहांगीरपुर की ओर अपने गंतव्य तक जा सकेंगे. पेरिफेरल एक्सप्रेसवे से सिरसा, परी चौक होते हुए दिल्ली जाने वाले लोग दादरा और डासना होते हुए जा सकेंगे. एंबुलेंस और अन्य इमरजेंसी वाहनों को रूट डायवर्जन से छूट दी गई है.
इमरजेंसी वाहनों को प्राथमिकता दी जाएगी और उन्हें डायवर्जन के जरिए निर्देशित किया जाएगा. यातायात संबंधी आपात स्थितियों के लिए हेल्पलाइन 9971009001 पर संपर्क किया जा सकता है. यात्रियों से गुजारिश की गई है कि वे अपनी यात्रा की सावधानीपूर्वक योजना बनाएं और प्रभावित रास्तों से बचें.
किसानों की डिमांड्स क्या हैं?
किसानों का कहना है कि नए भूमि अधिग्रहण कानून के अनुसार 1 जनवरी 2014 के बाद अधिग्रहित भूमि का 4 गुना मुआवजा दिया जाए. गौतमबुद्ध नगर में 10 साल से सर्किल रेट भी नहीं बढ़ाया गया है. नए भूमि अधिग्रहण कानून के लाभ जिले में लागू किए जाएं. किसान चाहते हैं कि जमीन अधिग्रहण के बदले 10 फीसदी विकसित भूखंड दिया जाए और 64.7 फीसदी की दर से मुआवजा दिया जाए. भूमिधर, भूमिहीन किसानों के बच्चों को रोजगार और पुनर्विकास के लाभ दिए जाएं. हाई पावर कमेटी की सिफारिशें लागू की जाएं. आबादी क्षेत्र का उचित निस्तारण किया जाए. ये सारे निर्णय शासन स्तर पर लिए जाने हैं.
कब से चल रहा प्रदर्शन?
नोएडा के किसान सोमवार (2 दिसंबर) को दिल्ली की ओर कूच करेंगे. किसानों का कहना है कि आबादी निस्तारण की मांग को लेकर वे तीनों प्राधिकरण (नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना अथॉरिटी) के खिलाफ लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं. किसानों ने सबसे पहले महापंचायत की थी. उसके बाद 27 नवंबर को ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के बाहर बाहर प्रदर्शन किया. 28 नवंबर से 1 दिसंबर तक यमुना विकास प्राधिकरण के बाहर प्रदर्शन किया. इस दरम्यान अफसरों से बातचीत भी हुई. रविवार को किसानों और अधिकारियों के बीच हाईलेवल बैठक हुई, लेकिन मांगों पर सहमति नहीं बन सकी. आंदोलन के तीसरे और अंतिम चरण 2 दिसंबर को संसद सत्र के दौरान दिल्ली कूच करने का ऐलान किया है.
कौन किसान संगठन निकाल रहे मार्च?
भारतीय किसान परिषद (BKP) ने किसान मजदूर मोर्चा (KMM) और संयुक्त किसान मोर्चा (SKM) जैसे कई अन्य किसान संगठनों के साथ मिलकर घोषणा की है कि वे सोमवार को दिल्ली की ओर मार्च करेंगे. BKP नेता सुखबीर खलीफा के नेतृत्व में पहला समूह 2 दिसंबर को दोपहर 12 बजे नोएडा के महामाया फ्लाईओवर के नीचे से अपना मार्च शुरू करेगा.
क्या है किसानों का प्लान?
प्रदर्शनकारी किसान सबसे पहले महामाया फ्लाईओवर के पास दोपहर 12 बजे से जुटना शुरू होंगे और दिल्ली की ओर ट्रैक्टरों से मार्च करेंगे. गौतमबुद्ध नगर, बुलंदशहर, अलीगढ़, आगरा समेत 20 जिलों के किसान दिल्ली मार्च में शामिल हो रहे हैं.
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