चुनाव आयोग का बड़ा फैसला, 1 घंटे बढ़ाया गया मतदान का समय

Update: 2022-01-08 10:35 GMT

दिल्ली। नई दिल्ली स्थित विज्ञान भवन में चुनाव आयोग की प्रेस कॉन्फ्रेंस शुरू हो गई है. एक अहम ऐलान में चुनाव आयोग ने कहा है कि मतदान के लिए समय को एक घंटा बढ़ा दिया गया है. ऐसा कोरोना की वजह से किया गया है. चुनाव के समय की घोषणा अधिसूचना जारी करने के वक्त की जाएगी.

CEC सुशील चंद्र ने कहा है कि मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट लागू हो गया है. चुनाव आयोग के अनुसार वोटर गाइड भी मिलेगी पहली बार वोट डालने वालों को. आयोग उनको निजी तौर पर चिट्ठी भी देगा. कम वोटिंग प्रतिशत वाले बूथों पर स्वीप एक्टिविटीज से इसे बढ़ाया जाएगा. चुनाव आयोग ने कहा है कि 60 से 70 फीसद संतोषजनक नहीं है. 90 फीसद से ज्यादा करना आयोग का लक्ष्य है.

इस बार चुनाव खर्च बढ़ाया गया है. राज्यों के दर्जे के मुताबिक विधायक उम्मीदवार 28 लाख से 40 लाख रुपए चुनाव में खर्च सकता है. आयकर, डीआरआई, रेलवे सहित कई एजेंसियों और संस्थानों को अलर्ट किया गया है कि नशीले पदार्थ, शराब, काला धन या अन्य फोकट में बांटने की चीजें लाने ले जाने वालों पर कड़ी निगाह रखें. चुनाव आयोग ने सुविधा एप बनाया है. इसके जरिए राजनीतिक दल सीधे आयोग को संपर्क कर सकते हैं. C vigil एप जनभागीदारी के लिए बनाया गया है. जनता इसे डाउनलोड कर एमसीसी का कोई भी उल्लंघन का वीडीओ, ऑडियो या सबूत अपलोड कर सकते हैं. शिकायतकर्ता के नाम पते की गोपनीयता के साथ कार्रवाई होगी.

सभी बूथ पर पुरुष और महिला सुरक्षाकर्मी तैनात होंगे. दिव्यांगों के लिए विशेष इंतजाम होंगे हर बूथ पर. वॉलेंटियर मदद करेंगे. व्हील चेयर भी हर बूथ पर होगी. कोविड प्रभावित या कोविड संदिग्ध के घर वीडीओ टीम के साथ आयोग की टीम विशेष वैन से जाएगी वोट डलवा कर आएगी. इन्हें बैलेट पेपर से वोट डालने का अधिकार मिलेगा. अपराधिक पृष्ठ भूमि के उम्मीदवारों के लिए अखबार टीवी और मीडिया और वेबसाइट के होम पेज पर तीन बार अलग अलग चरणों पर जानकारी सार्वजनिक करनी होगी. जनता को पता चले कि उनके उम्मीदवार कैसे हैं? संवेदनशील बूथों पर पूरे दिन वीडीओग्राफी होगी. पांचों राज्यों में एक लाख से ज्यादा बूथों पर लाइव वेबकास्ट होगा. ऑब्जर्वर भी ज्यादा संख्या में तैनात होंगे.

इस बार 1250 मतदाताओं पर एक बूथ बनाया गया है. पिछले चुनाव की तुलना में 16 फीसदी बूथ बढ़ गए हैं. 1620 बूथ को महिला पोलिंगकर्मी मैनेज करेंगी. 900 आब्जर्बर चुनाव पर नजर रखेंगे. चुनाव आयोग ने सरकारी कर्मचारियों के अलावा 80 साल से ज्यादा उम्र के नागरिकों, दिव्यांगों और कोविड प्रभावित लोगों के लिए पोस्टल बैलेट की व्यवस्था की है.


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