ओमिक्रोन के खतरे के बीच चल रहा कोरोना टीकाकरण अभियान, भारत सरकार बोली- मौत के मुंह में जाने से बचाती है

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Update: 2021-12-30 12:43 GMT

नई दिल्ली: भारत सरकार का कहना है कि दुनिया की कोई भी वैक्सीन कोरोना संक्रमण को नहीं रोकती है बल्कि ये मौत के मुंह में जाने से बचाती है। स्वास्थ्य मंत्रालय की साप्ताहिक प्रेस कॉन्फ्रेंस में आईसीएमआर के डीजी डॉक्टर बलराम भार्गव ने कहा कि चाहे वह भारत, अमेरिका या चीन की वैक्सीन क्यों न हो, वे वे संक्रमण को नहीं रोकती हैं। डॉ बलराम भार्गव ने कहा कि टीकाकरण से पहले और बाद में मास्क का उपयोग जरूरी है। उन्होंने कहा कि सभी को सामूहिक समारोहों से जाने से बचना चाहिए।

अस्पताल जाने से बचाएगा प्रिकॉशन डोज!
उन्होंने कहा, "सभी COVID टीके, चाहे वे भारत, इजराइल, अमेरिका, यूरोप, यूके या चीन के हों, मुख्य रूप से रोग में सुधार करने के लिए होते हैं। वे संक्रमण को नहीं रोकते हैं। प्रिकॉशन डोज मुख्य रूप से संक्रमण, अस्पताल में भर्ती होने और मृत्यु की गंभीरता को कम करने के लिए है।" आईसीएमआर डीजी का ये बयान ऐसे समय में आया है जब भारत 60 साल से ज्यादा उम्र के लोगों और हेल्थ वर्कर्स को प्रिकॉशन डोज यानी बूस्टर डोज देने की तैयारी कर रहा है।
नए वैरिएंट का इलाज कैसे होगा?
नए वैरिएंट के इलाज को लेकर आईसीएमआर के डीजी डॉक्टर बलराम भार्गव ने कहा कि दिशानिर्देशों में कोई बदलाव नहीं है। उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस के पहले और वर्तमान में फैल रहे वैरिएंट के लिए उपचार दिशानिर्देश समान हैं। उन्होंने कहा कि होम आइसोलेशन एक महत्वपूर्ण स्तंभ बना हुआ है। इस दौरान स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि भारत में पिछले 24 घंटे में कोरोना वायरस के नए स्वरूप 'ओमीक्रॉन' के 180 नए मामले सामने आने के बाद, देश में इस वैरिएंट के मामले बढ़कर 961 हो गए हैं। ये एक दिन में सामने आए ओमीक्रॉन के सर्वाधिक मामले हैं।

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