जनतंत्र, संविधान बचाने के लिए अहंकारी राजा उखाड़ फेंकने का अभियान शुरू हो रहा है: अरविंद केजरीवाल
नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने ऐलान कर दिया है कि 12 साल पहले जिस रामलीला मैदान से तब की सरकार को खदेडऩे के लिए हम इकट्ठा हुए थे आज वहीं से जनतंत्र, संविधान बचाने के लिए अहंकारी राजा उखाड़ फेंकने का अभियान शुरू हो रहा है। नोटबंदी, कोरोना, महंगाई, रेल हादसा, बेरोजगारी पर केंद्र सरकार को घेरते हुए उन्होने कहा, दिल्ली के खिलाफ अध्यादेश, दिल्लीवालों का अपमान है इसे किसी भी सूरत में पारित नहीं होने देंगे।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा मैं देश भर में घूम रहा हूं, देश के तमाम नेताओं ने समर्थन दिया है। अभिषेक मनु सिंघवी का आभार जताते हुए उन्होने याद दिलाया कि उन्होने दिल्लीवालों को 11 मई को हक दिलाया और प्रधानमंत्री ने उसे खारिज कर दिया। प्रधानमंत्री कहते हैं मैं सुप्रीम कोर्ट को नहीं मानता। ऐसे तो जनतंत्र खत्म हो जाएगा। प्रधानमंत्री अहंकारी हैं, अब दिल्ली में तानाशाही चलेगी, जनता सुप्रीम नहीं होगी, प्रधानमंत्री एलजी के जरिए सरकार चलाएंगे।
उन्होने ललकारते हुए कहा, 140 करोड़ देशवासी इस अध्यादेश के खिलाफ आप के साथ हैं। मुझे पता चला है कि ये पहला वार है कल यही अध्यादेश राजस्थान, मध्य प्रदेश, पंजाब के लिए लाया जाएगा इसलिए इसे पारित नहीं होने देंगे। दिल्ली में 2015, 2020 में आप की जीत का जिक्र करते हुए अरविंद केजरीवाल बोले, जनता ने तब सातों एमपी जिताए और कहा, मोदी जी आप केंद्र सरकार चलाओ, इधर (दिल्ली की तरफ) मत देखना लेकिन वो हमारे काम रोकते हैं। मैं चुनौती देता हूं,21 साल आपने राज किया है, आठ साल हमने, हमारे जितने काम गिनवा के दिखाओ।
अरविंद केजरीवाल ने एक कहानी सुनाते हुए आज उज्जैन में मूर्तियों के टूटने, अडाणी, बृजभूषण सिंह मामले भी जनता को याद दिलाए और कहा, देश ने उस अहंकारी राजा को उखाड़ फेंका और समझदार राजा बना दिया तो तरक्की होने लगी। इसलिए अगली बार वोट डालने जाओ तो ऐसे आदमी को वोट देना नो इतनी समझ रखता हो कि दो हजार का नोट रखना है या बंद करना है।