पाकिस्तान रेंजर्स के साथ BSF की मीटिंग, ड्रोन गतिविधियों पर भारतीय पक्ष ने जताई कड़ी आपत्ति
जम्मू कश्मीर के सुचेतगढ़ में इंटरनेशनल बॉर्डर पर बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स (बीएसएफ) और पाकिस्तान रेंजर्स के बीच सेक्टर कमांडर लेवल की बैठक हुई.
जम्मू कश्मीर के सुचेतगढ़ में इंटरनेशनल बॉर्डर पर बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स (बीएसएफ) और पाकिस्तान रेंजर्स के बीच सेक्टर कमांडर लेवल की बैठक हुई. बैठक के दौरान बीएसएफ के प्रतिनिधिमंडल ने सीमा पार से पाकिस्तान द्वारा ड्रोन और आतंकी गतिविधियों, पाकिस्तान द्वारा सुरंगों की खुदाई और सीमा प्रबंधन से जुड़े दूसरे मुद्दों को चर्चा के केंद्र में रखा. सीमा पर पाकिस्तान द्वारा ड्रोन गतिविधियों को लेकर बीएसएफ प्रतिनिधियों ने बैठक में बहुत कड़ा विरोध दर्ज कराया.
ध्यान रहे कि इसी साल जून महीने जम्मू एयरपोर्ट पर एयरफोर्स के टेक्निकल एरिया पर ड्रोन से हमला किया गया था. जम्मू एयरपोर्ट के एयर ट्रैफिक कंट्रोल (ATC) और वहां पार्क एमआई -17 जहाजों को निशाना बनाने के मकसद से आतंकियों ने ड्रोन हमले किए थे. इसके पीछे पाक आतंकी गुट लश्कर-ए-तैयबा का हाथ होने की आशंका जताई गई.
इंटरनेशल बॉर्डर पर भारत और पाकिस्तान के बीच हुए सीजफायर समझौते के बाद ये पहली बैठक थी. बैठक में दोनों पक्षों ने इंटरनेशनल बॉर्डर पर सद्भाव और शांति बहाल करने की दिशा में प्रतिबद्धता जताई. बीएसएफ ने अपने बयान में इस बात की जानकारी दी.बता दें कि साल 2003 में भारत और पाकिस्तान के बीच एलओसी पर युद्धविराम को लेकर समझौता हुआ था. लेकिन पिछले कई सालों से इस पर अमल नहीं किया जा रहा था. अब दोनों देश इस पर अमल करने के लिए तैयार हैं.
पिछले कुछ सालों में सीजफायर के उल्लंघन का ब्यौरा
2018 में 2140 बार पाकिस्तान ने सीजफायर तोड़ा
2019 में 3479 बार सीजफायर का उल्लंघन किय
2020 में 5133 बार सीजफायर का उल्लंघन हुआ
2021 में 25 फरवरी तक 591 बार उल्लंघन हुआ
गौरतलब है कि पाकिस्तान भले ही सीजफायर के समझौते पर अमल करने की बात करता हो लेकिन उसकी कथनी और करनी में जमीन आसमान का अंतर है. सीजफायर के उल्लंघन में पाकिस्तान की तरफ से उच्च क्षमता वाले हथियारों का भी इस्तेमाल हुआ.