'इस्तीफे की अफवाह भाजपा फैला रही है'...मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू का बड़ा बयान

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Update: 2024-02-28 09:04 GMT
शिमला: हिमाचल प्रदेश में विधायकों की बगावत के बाद मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने सरेंडर से इनकार कर दिया है। सुक्खू ने कहा कि कहा कि उनकी सरकार पूरे पांच साल चलेगी और उन्होंने इस्तीफा नहीं दिया है। उन्होंने मीडिया में चल रही इस्तीफे की खबरों का खंडन करते हुए कहा कि वह योद्धा हैं और युद्ध की तरह लड़ते रहेंगे। सुक्खू ने यह भी दावा किया कि उनकी सरकार को बहुमत हासिल है और भाजपा के कई विधायक भी संपर्क में हैं।
इस्तीफे की खबरों के बीच मीडिया के सामने आकर सुक्खू ने कहा, 'आम आदमी की सरकार है। भाजपा जिस तरह का बर्ताव कर रही है वह उचित नहीं है। हमारी सरकार पूरे पांच साल चलेगी। राज्यसभा चुनाव के बाद जो परिस्थिति है उसके बाद भी हमारे पास बहुमत है। उनके (भाजपा) कुछ विधायक भी हमारे संपर्क में हैं। भाजपा अच्छा ड्रामा कर रही है।' सुक्खू ने कहा कि उन्हें समझ नहीं आया कि इस्तीफे की खबर कैसे आई। उन्होंने कहा कि पूर्व सीएम जयराम ठाकुर ने कांग्रेस के एक विधायक से कहा कि मुख्यमंत्री ने इस्तीफा दिया तो उन्हें बाहर आकर स्थिति स्पष्ट की। सुक्खू ने कहा, 'हम योद्धा हैं, युद्ध की तरह लड़ते हैं। हम जीतेंगे, मैंने कोई इस्तीफा नहीं दिया है। सरकार पांच साल चलेगी।'
सुक्खू ने कहा, 'मैं घबराने वाला व्यक्ति नहीं हूं। मैं दावे के साथ कह सकता हूं कि बजट के लिए जो वोटिंग होगी उसमें हमारी जीत होगी। इस्तीफे की अफवाह भाजपा फैला रही है। वे सोच रहे होंगे कि इससे कांग्रेस में भगदड़ मच जाएगी लेकिन कांग्रेस पार्टी एकजुट है, जो छोटी-मोटी शिकायतें हैं वह भी दूर हो जाएंगी।'
हिमाचल प्रदेश में सरकार पर संकट मंगलवार को उस वक्त खड़ा हो गया जब 40 विधायकों वाली कांग्रेस का उम्मीदवार राज्यसभा चुनाव में हार गया। 6 कांग्रस और 3 निर्दलीय विधायकों ने भाजपा के हक में वोटिंग करके भगवा पार्टी के प्रत्याशी हर्ष महाजन को जितवा दिया। रही सही कसर वीरभद्र सिंह के बेटे विक्रमादित्य के इस्तीफे ने पूरी कर दी। उन्होंने अपने पिता, अपने और विधायकों के अपमान का आरोप लगाते हुए पद छोड़ दिया।
बताया जा रहा है कि विक्रमादित्य सिंह ने भी कांग्रेस हाईकमान के सामने अपनी बात रख दी है। उन्होंने बुधवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में साफ कहा कि अब सबकुछ हाईकमान के नतीजे पर निर्भर करता है। बगावत करने वाले विधायक वीरभद्र सिंह के समर्थक बताए जा रहे हैं। माना जा रहा है कि बागी विधायक नए सीएम के तौर पर विक्रमादित्य का नाम आगे कर सकते हैं।
कांग्रेस में उत्पन्न संकट को देखते हुए भाजपा भी ऐक्टिव है। कांग्रेस की फूट का फायदा उठाते हुए भाजपा सरकार बनाने के विकल्पों को तलाश रही है। विधायक दल के नेता जयराम ठाकुर लगातार बहुमत परीक्षण की मांग कर रहे हैं। हालांकि, बजट से पहले बुधवार को स्पीकर ने ठाकुर समेत भाजपा के 15 विधायकों को पूरे सत्र के लिए सदन से निष्कासित कर दिया है। इसको लेकर विधानसभा में जोरदार हंगामा देखने को मिला।
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