लखनऊ। प्रवीण परिमल (रांची, झारखंड) के लखनऊ प्रवास के दौरान इंडियन कॉफी हाउस, हजरतगंज में उनके साथ कविता की एक शाम का आयोजन हुआ। इस मौके पर क्रांतिकारी जन गायक गदर के निधन पर शोकांजलि अर्पित की गई तथा 2 मिनट का मौन रखकर उन्हें श्रद्धांजलि दी गई। प्रवीण परिमल ने अपने काव्य पाठ की शुरुआत गदर को समर्पित कविता से की। उन्होंने 'जंगल से लौटकर' तथा 'प्रेम का रंग नीला' संग्रह से करीब आधा दर्जन कविताओं का पाठ किया। कविताएं विविधता पूर्ण थीं। इनमें प्रेम की भावाभिव्यक्ति थी, तो वहीं क्रूर समय की विसंगतियां भी व्यक्त हुईं।
प्रवीण परिमल ने अपनी कई गजलें सुनाई जिसे काफी पसंद किया गया। इस दौरान उनके दोनों संग्रह लखनऊ के साहित्यकारों के बीच जारी हुआ। इस मौके पर उषा राय, शैलेश पंडित तथा विमल किशोर ने भी अपनी कविताओं का आस्वादन कराया। जसम लखनऊ के अध्यक्ष कवि-आलोचक चन्द्रेश्वर, कवि भगवान स्वरूप कटियार, कवि-कथाकार तरुण निशांत, जसम लखनऊ के सचिव फ़रज़ाना महदी व सह सचिव कलीम खान मौजूद थे। शुरू में कौशल किशोर ने संक्षेप में उनका परिचय दिया तथा स्वागत किया। उसी अवसर की तस्वीरें कलीम खान और प्रवीण परिमल के सौजन्य से।