शादी के 54 साल बाद दंपती के घर में गूंजी किलकारी, पढ़े ये खबर

Update: 2022-08-09 15:37 GMT

अलवर: राजस्थान के अलवर में सोमवार को एक बुजुर्ग दंपती के घर से सुखद खबर सामने आई जहां शादी के 54 साल बाद दंपती के घर में किलकारी गूंजी है. जानकारी मिली है कि बच्चे को जन्म देने वाली महिला की उम्र 70 साल और उसके पति की उम्र 75 साल है जिनकी शादी को करीब 54 साल गुजर गए हैं जिसके बाद अब जाकर दोनों को पहली संतान की प्राप्ति हुई है. डॉक्टरों का कहना है कि आईवीएफ तकनीक की मदद से महिला को संतान पैदा हुई है और डॉक्टरों ने दावा किया कि राजस्थान में यह पहला मामला है जहां इतनी ज्यादा उम्र में किसी महिला ने बच्चे को जन्म दिया है. हालांकि इस तकनीक की मदद से दुनियाभर में कई बुजुर्ग दंपती उम्र के इस पड़ाव में माता-पिता बन चुके हैं. वहीं अलवर की दंपती का कहना है कि उनके आंगन में इतने सालों बाद किलकारी गूंजी है जिसकी हमें कितनी खुशी है हम जाहिर भी नहीं कर सकते हैं.

बता दें कि आईवीएफ तकनीक के जानकारों का मानना है कि देशभर में इस उम्र में किसी महिला के तकनीक की मदद से बच्चे पैदा होने के बहुत कम मामले हैं. वहीं राजस्थान में इसे पहला मामला माना जा रहा है जहां 70 साल की महिला ने संतान को जन्म दिया है.
बच्चे के पिता गोपीचंद जो सेना में काम करते थे उनका कहना है कि वह आंगन में एक संतान का 1968 से इंतजार कर रहे थे. उन्होंने बताया कि 1983 में सेना से रिटायर होने के बाद वह अपनी पत्नी की देशभर के कई डॉक्टरों से जांच करा चुके हैं लेकिन उनको संतान सुख नहीं मिला.
इसके बाद कुछ रिश्तेदारों ने उन्हें आईवीएफ के बारे में जानकारी दी जिसके बाद आईवीएफ सेंटर की मदद से 70 साल की चंद्रवती ने आखिरकार लड़के को जन्म दिया जिसका वजन करीब पौने 3 किलो बताया गया है.
गौरतलब है कि इन विट्रो फर्टिलाइजेशन यानि IVF को ही टेस्ट ट्यूब बेबी के नाम से जाना जाता था जिसमें महिला के अंडों और पुरुष के शुक्राणुओं को मिलाकर महिला के गर्भ में रखा जाता है. बता दें कि यह प्रक्रिया कई चरणों में पूरी की जाती है. वहीं अब टेस्ट ट्यूब बेबी को लेकर सरकार ने असिस्टेड रीप्रोडेक्टिव टेक्नीक कानून लागू कर दिया है जिसमें 50 साल से अधिक उम्र की महिलाएं टेस्ट ट्यूब बेबी से मां नहीं बन सकती है.
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