सोनीपत। हरियाणा के सोनीपत में अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश सुरुचि अतरेजा सिंह की अदालत ने किशोरी से दुष्कर्म करने के मामले में आरोपी को दोषी करार दिया है। दोषी को 20 साल कैद व 50 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है। जुर्माना राशि पीडि़ता को देने के आदेश दिए गए हैं। जुर्माना नहीं देने पर एक साल अतिरिक्त कैद की सजा भुगतनी होगी। मूलरूप से बिहार की रहने वाली महिला ने 5 सितंबर, 2020 को राई थाना पुलिस को बताया था कि वह परिवार के साथ राई क्षेत्र में रहती है। वह तथा उनके पति फैक्टरी में नौकरी करते हैं। उनकी 15 साल की बेटी घर पर रहती थी। उनके पड़ोस में मूलरूप से बिहार के जिला बक्सर के गांव बनकट का सरोज किराए पर रहता था। वह उनके पति के साथ फैक्टरी में नौकरी करता था। उन्हें कुछ दिन पहले पता लगा कि उनकी बेटी गर्भवती है। उनकी बेटी ने बताया कि सरोज ने उसके साथ कई माह पहले दुष्कर्म किया था। बाद में आरोपी मार्च, 2020 में कोरोना महामारी के दौरान लगे लॉकडाउन में कमरा छोडक़र भाग गया था।
जब परिवार को बेटी के साथ दुष्कर्म का पता लगा तो वह पहले लोकलाज के चलते चुप रहे थे। बाद में जब लडक़ी करीब 8-9 माह की गर्भवती हो गई तो उसे लेकर निजी अस्पताल में पहुंचे थे। वहां से उसे सामान्य अस्पताल में रेफर कर दिया गया था। सामान्य अस्पताल में नाबालिग को गर्भवती देखकर बहालगढ़ चौकी पुलिस को अवगत कराया गया था। तब पुलिस ने पहुंचकर लडक़ी की मां के बयान पर दुष्कर्म व पॉक्सो एक्ट में मुकदमा दर्ज कर लिया था। किशोरी ने पीजीआई रोहतक में बच्ची को जन्म दिया था। पुलिस ने मामले में कार्रवाई करते हुए बच्ची के ब्लड सैंपल ले लिए थे। पुलिस ने मामले में 20 नवंबर 2020 को आरोपी सरोज को गिरफ्तार कर लिया था। उसे अदालत में पेश कर जेल भेज दिया गया था। मामले में सुनवाई करते हुए एएसजे सुरुचि अतरेजा सिंह की अदालत ने आरोपी सरोज को दोषी करार दिया। अदालत ने मंगलवार को मामले में फैसला सुनाते हुए दोषी को 6 पॉक्सो एक्ट में 20 साल की कैद व 50 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है। जुर्माना न देने पर एक साल अतिरिक्त कैद की सजा भुगतनी होगी।