बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष और पूर्व प्रदेशाध्यक्ष के सामने भिड़ गए कार्यकर्ताओं के दो गुट, फेंकी गई कुर्सियां, फिर....
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पश्चिम बंगाल की बीजेपी इकाई में शुक्रवार को कलह सामने आई. पश्चिम बर्द्धवान जिले में राज्य के पार्टी अध्यक्ष सुकांत मजूमदार और उनके पूर्ववर्ती दिलीप घोष के सामने ही बीजेपी के दो गुट आपस में भिड़ गए. इस दौरान एक दूसरे पर कुर्सियां भी फेंकी गई. वहीं दोनों नेताओं ने इस घटना के लिए तृणमूल कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराया.
दरअसल दोनों नेता पार्टी के कार्यक्रम में शामिल होने के लिए कटवा के दईहाट आए थे तभी एक समूह घोष के नेतृत्व के खिलाफ, जो सितंबर मध्य तक पश्चिम बंगाल के बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष थे, नारेबाजी शुरू कर दी और आरोप लगया कि जब पार्टी के आम कार्यकर्ता ''विधानसभा चुनाव के बाद तृणमूल कांग्रेस के हमले'' का सामना कर रहे थे तब उनकी मदद नहीं की गई. तभी दूसरे गुट ने प्रदर्शनकारियों को वहां से हटाने की कोशिश की और इस दौरान उनके बीच धक्का-मुक्की के साथ-साथ हाथापाई और एक दूसरे पर कुर्सियों को फेंकने की घटना हुई.
बैठक में समस्या खड़ी करने के लिए TMC ने भेजे एजेंट
हालांकि, कुछ जिला स्तर के नेताओं की कोशिश से स्थिति समान्य हो सकी. इस दौरान पार्टी के वर्तमान राष्ट्रीय उपाध्यक्ष घोष और मजूमदार मंच पर बैठे रहे. पश्चिम बर्द्धमान की घटना के लिए टीएसी को जिम्मेदार ठहराते हुए मजूमदार ने मीडिया से कहा, '' बैठक में समस्या खड़ी करने के लिए तृणमूल कांग्रेस ने अपने एजेंट भेजे थे. हमने समस्या पैदा करने वालों की पहचान कर ली है.''जब उनसे कहा गया कि दोनों पक्ष भाजपा के ही थे तो मजूमदार ने कहा, ''अगर हमारा कार्यकर्ता इसमें शामिल पाया जाता है तो उसके खिलाफ कार्रवाई होगी.''
प्रदर्शन करने वाले नहीं हैं सच्चे बीजेपी कार्यकर्ता
घोष ने कहा जो प्रदर्शन कर रहे थे, ''वे पार्टी में विधानसभा चुनाव से पहले तृणमूल कांग्रेस से आए हैं और वे सच्चे बीजेपी कार्यकर्ता नहीं हैं. हमें उनकी अपनी पार्टी में जरूरत नहीं है.'' वहीं, जिला स्तर के तृणमूल कांग्रेस नेता ने भाजपा के आरोपों से इंकार करते हुआ कहा कि बीजेपी की भीतर की लड़ाई अब सार्वजनिक हो गई.