Uttarakhand : बढ़ा डेंगू का खतरा, अस्पतालों को अलर्ट मोड पर रहने के निर्देश

Update: 2024-07-02 11:20 GMT
 Uttarakhandउत्तराखंड: मानसून सीज़न की दस्तक के साथ ही बीमारियों का भी खतरा बढ़ने लगा है। बारिश के मौसम में होने वाली बिमारियों में डेंगू और चिकनगुनिया सबसे गंभीर हैं। बरसात में जगह-जगह जलभराव होने के कारण डेंगू के लारवा भी पनपने लगते हैं। इसी को लेकर अब स्वास्थ्य विभाग अलर्ट मोड पर आ गया है। स्वास्थ्य विभाग ने सभी अस्पतालों के लिए एसओपी भी जारी कर दी है। जिसमें सभी अस्पतालों को अलर्ट मोड पर रहने के निर्देश दिए गए हैं।
प्रदेश के मैदानी क्षेत्रों में जून से अक्टूबर के बीच डेंगू व चिकनगुनिया का संक्रमण देखा जाता है। बीते साल प्रदेश में डेंगू का अत्याधिक प्रकोप रहा था। डेंगू के कारण पिछले साल 17 लोगों को जान गंवानी पड़ी थी। इसे देखते हुए स्वास्थ्य सचिव ने सभी विभागों को अभी से अलर्ट रहने और मच्छरों को न पनपने देने के लिए जरूरी कदम उठाने को कहा है।
स्वास्थ्य सचिव डॉ आर.राजेश कुमार ने कहा कि डेंगू और चिकनगुनिया की रोकथाम के लिए पहले से ही एसओपी जारी करते हुए माइक्रो कंटेनमेंट जोन भी बना दिया गया है। इसके साथ ही नगर निगम और लोकल एडमिनिस्ट्रेशन से भी हमारी लगातार मीटिंग चल रही है।
नगर निगम भी तैयारी का किया दावा
मानसून सीजन में डेंगू और चिकनगुनिया जैसी बीमारियों के बचाव के लिए नगर निगम भी तैयारी का दावा कर रहा है। मुख्य प्रभारी नगर स्वास्थ्य अधिकारी डा.अविनाश खन्ना ने बताया कि नगर निगम की ओर से जनसमस्याओं के निस्तारण के लिए 13 जून से कंट्रोल रुम स्थापित किया गया है। जिसमें अबतक 18 शिकायतें जलभराव आदि की आई है। इनमें से 16 शिकायतों का निस्तारण किया जा चुका है। जबकि 2 शिकायतों के निस्तारण के लिए टीमें रवाना की गई है।
उन्होने बताया कि डेंगू से बचाव के लिए 6 टीमें गठित की गई है। रेपिड और क्विक रिस्पांस टीम बनाकर सभी वार्डों में दवा का छिड़काव के साथ ही सभी 100 वार्डों में फागिंग का कार्य किया जा रहा है। इसके साथ ही लोगों को डेंगू से बचाव के प्रति भी जागरूक किया जा रहा है।
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