पांच दिन बाद भी लोहाघाट-पिथौरागढ़ मार्ग पर मलबे से रुकी हुई हैं हाईवे की राह

Update: 2022-10-12 10:30 GMT

टनकपुर न्यूज़: टनकपुर-पिथौरागढ़ राष्ट्रीय राजमार्ग में पूरे पांच दिन बाद भी सुचारू ढंग से वाहनों की आवाजाही शुरू नहीं हो सकी है। जिसके कारण अभी भी पर्वतीय और मैदानी क्षेत्र को आने-जाने वाले यात्रियों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। टनकपुर से लोहाघाट तक छोटे वाहनों के लिए हाईवे मंगलवार की दोपहर में सुचारू कर दिया गया था, लेकिन बुधवार सुबह बेलखेत के पास 106 किमी में फिर से मलबा आ गया। हालांकि कुछ देर बाद मलबा हटाकर वाहनों की आवाजाही शुरू कर दी गई। एनएच पर अभी भी मालवाहक वाहन और बड़े यात्री वाहन नहीं चल रहे हैं। लोहाघाट- पिथौरागढ़ मार्ग पर लीसा डिपो एवं भारतोली के पास मलबा आने से हाईवे पर जाम लगा हुआ है। चार दिन से राष्ट्रीय राजमार्ग पर सुचारू संचालन नहीं हो पाने से यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।

आपदा नियंत्रण कक्ष से मिली जानकारी के अनुसार घाट से टनकपुर के टिपनटॉप तक लगातार मलबा गिर रहा है। टनकपुर-पूर्णागिरि मार्ग सुबह से सुचारू चल रहा है। जिसके कारण मां पूर्णागिरि धाम में श्रद्धालुओं की आवाजाही भी शुरू हो गई है। ग्रामीण क्षेत्रों को जोड़ने वाली 44 सड़कें बंद हैं। सड़कों को खोलने का काम सुबह से ही शुरू हो गया है। राहत की बात यह है कि बुधवार सुबह से ही जिले के पर्वतीय और मैदानी क्षेत्र टनकपुर और बनबसा में धूप खिली है। कई जगह आसमान में हल्केबादल भी छितराए हैं। बारिश का सिलसिला बंद होने से जनजीवन भी पटरी पर लौट आया है। ग्रामीण इलाकों में काम धंधा पहले की भांति शुरू हो गया है। लेकिन खेतों में जल भराव होने से अभी भी दिक्कतें आ रही हैं।

लगातार हुई बरसात के कारण चंपावत जिले के मैदानी क्षेत्र टनकपुर और बनबसा में कई काश्तकारों की धान की फसल भी खराब हो गई है। इधर, जिलाधिकारी नरेंद्र सिंह भंडारी ने एनएच के अधिकारियों से टनकपुर-पिथौरागढ़ राष्ट्रीय राजमार्ग को जल्द सुचारू करने के निर्देश दिए हैं।

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