UTTARPRADESH : अलीगढ़ में शिक्षक संघ के द्वारा डिजिटल हाजिरी को लेकर और बड़े स्तर पर प्रदर्शन करने की चेतावनी दे दी है. शिक्षक संघ के पदाधिकारियों के द्वारा इसकी तैयारी भी की जा रही है. जिससे ज्यादा से ज्यादा शिक्षकों को इकट्ठा करने के बाद सरकार पर दबाव बनाया जा सके. शिक्षक संघ के द्वारा दलील दी गई है, नेटवर्क की परेशानी व अन्य समस्याओं के चलते ही डिजिटल हाजी नहीं लगाई जा सकती. लेकिन प्रशासन और सरकार लगातार शिक्षकों पर दबाव बना रही है. जबकि लंबे समय से शिक्षकों की मांगे अधूरी पड़ी हुई है. उसको लेकर सरकार के द्वारा अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई.
डिजिटल DIGITAL हाजरी को लेकर लगातार शिक्षकों पर दबाव बनाया जा रहा है. अगर शिक्षकों पर दबाव बनाया जाता रहा तो शिक्षक बड़े प्रदर्शन करने के लिए मजबूर होंगे. जिसको लेकर उनके द्वारा तैयारी भी की जा रही है. 15 जुलाई को उनके द्वारा 5000 से ज्यादा शिक्षकों के साथ मिलकर जिलाधिकारी कार्यालय पर प्रदर्शन किया जाएगा. उसके बाद लखनऊ में बड़ा प्रदर्शन किया जाएगा.
15 जुलाई को होगा प्रदर्शन
15 जुलाई 2024 को घंटाघर पार्क में अपराहन 1:00 बजे से एकत्रित होकर धरना देंगे. वहां से पैदल मार्च करते हुए कलेक्ट्रेट सभागार में पहुंचेंगे. वहां जिलाधिकारी महोदय के माध्यम से माननीय मुख्यमंत्री जी को शिक्षक शिक्षामित्र अनुदेशक कर्मचारी की समस्याओं से संबंधित ज्ञापन माननीय मुख्यमंत्री जी को प्रेषित किया जाएगा. जब तक संयुक्त मोर्चा की समस्त मांगो को नहीं मान लिया जाता है. शिक्षक किसी भी कीमत पर ऑनलाइन ONLINE उपस्थिति नहीं देंगे. साथ ही उन्होंने कहा कि बेसिक शिक्षा नियमावली में ऑनलाइन उपस्थिति देने का कोई नियम नहीं है.
बहुत से विद्यालय ऐसे हैं जहां पर के जलभराव हो जाता है, विद्यालय तक पहुंचने के लिए रास्ते नहीं है. वहां शिक्षक कैसे पहुंचेंगे, बहुत से विद्यालय भवन नहीं है, शिक्षक नहीं है, फर्नीचर नहीं है, एमडीएम बनने के लिए किचन सेड तक नहीं है, सरकार उस पर ध्यान क्यों नहीं दे रही है. सबसे पहले बुनियादी सुविधाओं को पूरा करना होगा जब तक बुनियादी सुविधाएं पूर्ण नहीं होती है. तब तक शिक्षक कर्मचारी कोई भी ऑनलाइन उपस्थित नहीं देगा. महिला संघ की अध्यक्ष योगेश्वरी वर्मा ने कहा कि महिलाओं की समस्याओं का निदान आज तक सरकार ने नहीं किया.
सभी विद्यालयों में टैबलेट TABLET नहीं पहुंचे
अभी तो सभी विद्यालयों में टैबलेट भी नहीं पहुंचे हैं. बहुत से विद्यालयों के टैबलेट TABLET खराब हो गए हैं, और टैबलेट की गुणवत्ता इतनी खराब है कि उनसे कोई भी ऑनलाइन काम करना संभव ही नहीं है. जब तक शिक्षकों की सीसीएल, चिकित्सा अवकाश, जीएफ को ऑनलाइन ONLINE करना, आज तक समस्याओं का निराकरण नहीं किया गया है और शिक्षकों पर ऑनलाइन उपस्थिति के लिए दबाव बनाया जा रहा है. जिसको संगठन किसी कीमत पर मानने को तैयार नहीं है.
जिला कोषाध्यक्ष विश्वनाथ ने कहा ने कहा कि निदेशालय में किसी की उपस्थिति नहीं ली जा रही. जिलाधिकारी कार्यालय में किसी की ऑनलाइन उपस्थिति नहीं ली जा रही. जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी कार्यालय में किसी की ऑनलाइन ONLINE उपस्थिति नहीं ली जा रही. बीआरसी पर किसी की ऑनलाइन उपस्थिति नहीं ली जा रही तो फिर शिक्षकों के साथ जोर जबरदस्ती क्यों की जा रही है. उनके मान सम्मान से क्यों खिलवाड़ किया जा रहा है. क्या शिक्षक चोर हैं. यह ऑनलाइन उपस्थिति लेकर गवर्नमेंट यह दिखाना चाहती है कि शिक्षक ही चोर हैं.
अन्य विभागों में भी ऑनलाइन उपस्थिति ONLINE ATTENDENCE हो
यदि गवर्नमेंट ऑनलाइन उपस्थिति लेना चाहती है तो पहले सभी अन्य विभागों की उपस्थिति ली जाए. उसके बाद शिक्षकों की. शिक्षक को अन्य सभी कर्मचारियों में सबसे ऊंचा दर्जा दिया जाता है. उसकी उपस्थिति पर प्रश्न चिन्ह लगाना दुर्भाग्यपूर्ण है. सरकार को उल्टी गंगा नहीं बहाना चाहिए सबसे पहले महानिदेशक स्वयं अपने कार्यालय से आने और जाने की ऑनलाइन उपस्थिति दें और अपने सभी कर्मचारियों को उपस्थिति देने को बाध्य करें, यदि सारा काम कंप्यूटर COMPUTER से ही हो सकता है ऑनलाइन हो सकता है तो शिक्षकों की समस्याओं का निराकरण ऑनलाइन क्यों नहीं है.