जनता से रिश्ता : लखनऊ स्थित खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन की प्रयोगशाला में बनारस से भेजे गए पांच दवाओं के सैंपल फेल हो गए हैं। ये एंटीबायोटिक दवाएं संक्रमण, निमोनिया और गठिया से जुड़ी हैं। ये सभी सैंपल चार मेडिकल स्टोर और ककरमत्ता स्थित एक नर्सिंग होम से लिए गए थे।
जांच रिपोर्ट के अनुसार कोई टैबलेट पूरी तरह नकली है तो किसी में 50 फीसदी भी मूल दवा नहीं है। इन दवाओं का मरीजों को पूरा लाभ नहीं मिलता। उन्हें लंबे समय तक दवाएं खानी पड़ रही हैं। संक्रमण खत्म करने वाले टैबलेट के दो सैंपल लिए थे। इनमें एक सैंपल पूरी तरह नकली है। दूसरे सैंपल में मात्र 36 फीसदी मूल दवा मिली है। संक्रमण खत्म करने के लिए जिस टैबलेट का सबसे ज्यादा उपयोग होता है, उसमें भी 73.86 फीसदी शुद्धता मिली है। इसमें भी मिलावट है। वहीं निमोनिया में उपयोगी टैबलेट में 36.67 फीसदी शुद्धता पाई गई है। कान के संक्रमण और गठिया में उपयोग होने वाले टैबलेट में भी 72 फीसदी ही मूल दवा मिली है।
ड्रग इंस्पेक्टर अमित बंसल ने बताया कि जिनका सैंपल फेल हुआ है, उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया जाएगा।
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