कौशाम्बी: जिलाधिकारी सुजीत कुमार ने आज मुख्य चिकित्साधिकारी कार्यालय में आयोजित कार्यक्रम में फाइलेरिया रोग से बचाव की दवा खाकर फाइलेरिया रोग उन्मूलन अभियान का शुभारम्भ किया तथा जनपदवासियों से अपील की कि स्वास्थ्यकर्मी आपके घर जाकर फाइलेरिया से बचाव की दवा खिलायेंगे, दवा अवश्य खायें। मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ0 सुष्पेन्द्र कुमार ने कहा कि शासन के निर्देशानुसार फाइलेरिया उन्मूलन अभियान 10 अगस्त से 28 अगस्त 2023 तक चलाया जा रहा है। अभियान के दौरान स्वास्थ्य विभाग की टीम घर-घर जाकर लोगों को फाइलेरिया से बचाव की दवा खिलायेंगे।
फाइलेरिया संक्रमण से बचने का एक मात्र उपाय समय पर फाइलेरिया रोधी दवा का सेवन करना है। इस दवा को वर्ष में सिर्फ एक बार एवं 03 वर्षों तक लगातार खाना है। उन्होंने कहा कि फाइलेरिया एक गम्भीर और लाइलाज बीमारी है, जो मच्छर के काटने से होती है, लेकिन इससे बचाव सम्भव है। मच्छर कभी भी किसी को भी कहीं भी काट सकता है। इसके लक्षण आने में 05 से 15 वर्ष लग जाते हैं। उन्होंने कहा कि यह दवा एक वर्ष से कम उम्र के बच्चां, गर्भवती महिलाओं और अति गम्भीर लोगों को छोड़कर हर किसी को खानी है। यह दवा खाली पेट नहीं खाना है।
दवा खाने के बाद किसी-किसी को जी मिचलाना, चक्कर या उल्टी आना, सिर दर्द, खुजली की शिकायत हो सकतीं हैं, ऐसे में घबराने की जरूरत नहीं है। यह एक सामान्य प्रक्रिया है। ऐसा शरीर में फाइलेरिया के परजीवी होने से हो सकता है, जो दवा खाने के बाद मरतें हैं। ऐसी प्रतिक्रिया कुछ देर में स्वतः ठीक हो जाती हैजिला मलेरिया अधिकारी डॉ0 अनुपमा मिश्रा ने बताया कि जनपद में अब तक फाइलेरिया के 1045 मरीज चिन्हित किये गये हैं। इनमें 658 से लिम्फोडीमा और 387 रोगी हाइड्रोसील के हैं। स्वास्थ्य विभाग के 1640 टीमों के जरिये बूथ एवं घर-घर जाकर दवा सेवन सुनिश्चित करवाया जायेंगा।