विधानसभा सत्र के पहले दिन सपा अनुपस्थित रही लेकिन सहयोगी आए नजर

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Update: 2022-09-19 10:36 GMT
लखनऊ। उत्तर प्रदेश विधानसभा के मॉनसून सत्र के पहले दिन सोमवार को राज्‍य की मुख्‍य विपक्षी दल समाजवादी पार्टी (सपा) ने 'पैदल मार्च' का आयोजन किया और सदन से अनुपस्थित रही। हालांकि, सपा के सहयोगियों की सदन में उपस्थिति नजर आयी। सपा के ही चुनाव चिह्न पर कौशांबी के सिराथू विधानसभा क्षेत्र से चुनाव जीती अपना दल (कमेरावादी) की नेता पल्लवी पटेल सदन में नजर आयीं और अपनी सीट से उठकर नेता सदन योगी आदित्‍यनाथ से मिलने भी गयीं।
पल्‍लवी ने 'पैदल मार्च' में शामिल होने के सवाल पर कहा कि ''हमें उसकी सूचना नहीं थी, मैं सदन में गयी थी।'' पटेल ने 2022 के विधानसभा चुनाव में सिराथू में उप मुख्‍यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य को पराजित किया था। वहीं सपा की सहयोगी राष्‍ट्रीय लोकदल के सदस्य भी सदन की कार्यवाही में शामिल हुए। रालोद सदस्यों ने गन्ना भुगतान, महंगाई,बेरोजगारी आदि मामलों को लेकर अपने दल के नेता राजपाल बालियान के नेतृत्व में विधानसभा के मुख्‍य द्वार पर प्रदर्शन किया। वर्ष 2022 के विधानसभा चुनाव में रालोद ने सपा के गठबंधन से चुनाव जीता और उसके आठ विधायक सदन में निर्वाचित होकर पहुंचे हैं। अलबत्ता सपा के चुनाव चिह्न पर विधानसभा चुनाव जीते प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (लोहिया) के अध्‍यक्ष शिवपाल सिंह यादव सदन में नजर नहीं आए। शिवपाल सपा प्रमुख अखिलेश के चाचा हैं और चाचा-भतीजे के मतभेद जगजाहिर हैं। सोमवार को शिवपाल इटावा और एटा के दौरे पर थे। सपा की पूर्व सहयोगी सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (सुभासपा) के नेता ओमप्रकाश राजभर ने भी अपने विधायकों के साथ सदन की कार्यवाही में हिस्सा लिया।
राजभर ने सपा प्रमुख के 'पैदल मार्च' पर तंज कसते हुए कहा, ''अखिलेश यादव को जनता ने पैदल कर दिया तो अब क्‍या करेंगे।'' सोमवार को विधानसभा सत्र की शुरुआत पर सपा अध्‍यक्ष अखिलेश यादव ने अपने सभी विधायकों के साथ महंगाई, बेरोजगारी, बदहाल कानून-व्यवस्था और किसान, महिला व युवा उत्पीड़न जैसे जनहित के मुद्दों को लेकर सपा मुख्यालय से विधानसभा तक 'पैदल मार्च' का ऐलान किया था। हालांकि, पुलिस ने बीच रास्ते में ही सपा प्रमुख यादव समेत उनके विधायकों को रोक दिया जिसके विरोध स्वरूप वह धरने पर बैठ गये।
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