मेरठ न्यूज़: भूमिया पुल क्षेत्र में स्थित वार्ड-90 के कई मोहल्लों में रहने वाले लोग पानी की गंभीर समस्या का सामना कर रहे हैं। इस वार्ड में मुख्य मार्ग पर स्थित नलकूप पांच साल पहले फेल हो चुका है, लेकिन इन पांच साल की अवधि के दौरान नगर निगम के अधिकारी वार्डवासियों को निर्बाध रूप से जलापूर्ति नहीं कर सके हैं। वार्ड में कई दशक से डाला जा रहा खत्ता हटवाने के लिए मोहल्ले के लोग आंदोलन तक कर चुके हैं, लेकिन नगर निगम के अधिकारियों ने इस ओर कोई ध्यान नहीं दिया है। फिरोज नगर निवासी अजीमुद्दीन, ऊंचा सदीक नगर निवासी मोहम्मद इकबाल, खत्ता रोड निवासी सलीम सिद्दीकी, हाजी सरताज आदि से की गई बातचीत में यह बात सामने आई कि इस वार्ड के लोग पेयजल की गंभीर समस्या से जूझ रहे हैं। शकूरनगर, फिरोजनगर, अलवी नगर ऊंचा सदीक नगर आदि मोहल्लों को मिलाकर बनाए गए वार्ड-90 में वोटरों की संख्या 17 हजार से ज्यादा बताई गई है।
भूमिया पुल से गूलर वाली गली, मंदिर वाली गली, ऊंचा सद्दीक नगर, राधने वाली गली, अलवी नगर, घंटे वाली गली का दायरा देखा जाए, तो यह करीब दो किमी का क्षेत्र पड़ता है। भूमिया पुल लिसाड़ी रोड पर स्थित नलकूप का बोरिंग पिछले पांच साल से फेल है। जिसके कारण इस इलाके में पेयजल आपूर्ति बेहद खराब स्थिति में चल रही है। कोई बड़ा आयोजन होने की स्थिति में नगर निगम से टैंकर मंगाने पड़ते हैं। नवाब पार्षद का कहना है कि पांच साल के दौरान दूसरी जगह नलकूप लगाने के लिए दो बार बोरिंग कराने का प्रयास किया गया, लेकिन पानी की गुणवत्ता पेयजल के अनुरूप नहीं पाई गई। इस कारण क्षेत्र में दोबारा बोरिंग करा कर नलकूप को चलाना काम नहीं हो सका है। इस नलकूप के खराब होने के कारण चकोर वाली गली, धोबी वाली गली, राधने वाली गली, ऊंचा सदीक नगर समेत विभिन्न इलाकों में रहने वाले सैकड़ों परिवार पानी की समस्या से जूझते रहते हैं। फिलहाल कुटटी वाली गली में स्थित नलकूप से पाइपलाइन की कनेक्टिविटी करके आंशिक रूप से इन क्षेत्रों को पानी देने का प्रयास किया जाता है। हालांकि इस व्यवस्था से दोनों ही क्षेत्रों के लोगों को पर्याप्त मात्रा में पानी नहीं मिल पा रहा है। वार्ड में जल निगम की ओर से दो साल पहले सीवर लाइन बिछाई जा चुकी है। लेकिन इस लाइन को जल निगम ने आज तक शुरू नहीं किया है।
जल निगम ने अभी तक सीवर लाइन को प्रयोग के लिए नगर निगम को इसका हस्तांतरण भी नहीं है। पार्षद नवाब और वार्ड के लोगों का कहना है कि विभाग के अधिकारी जवाब देते हैं कि सीवर लाइन का काम अभी पूरा नहीं हो पाया है। सीवर लाइन चालू न होने के कारण नालियों में अक्सर अवरोध बना रहता है। जिसके कारण आए दिन नालियों की सफाई करानी पड़ती है। वार्ड में भूमिया के पुल पर माता मंदिर से जुड़ी दो पुलिया काफी समय से टूटी पड़ी है। इसके अलावा फूल वाली गली, जाली वाली गली, राधने वाली गली, कुट्टी वाली गली, धोबी वाली गली, चकोर वाली गली समेत विभिन्न गलियों में पुलिया क्षतिग्रस्त स्थिति में देखी जा सकती हैं। लब्बोलुआब यह है कि क्षेत्र में निर्माण के नाम पर पार्षद के पास ऐसा कोई काम नहीं है जिसे वह अपनी उपलब्धि के रूप में पेश कर सकें। इसके अलावा भूमिया पुल से लिसाड़ी गांव तक जाने वाले मुख्य मार्ग पर हर कदम पर गहरे गड्ढे हो चले हैं। इस रोड के दोनों और एक भरा पूरा बाजार है। जिसमें दिनभर वाहनों की आवाजाही और खरीदारों की चहल-पहल बनी रहती है। इस रोड की स्थिति इतनी खराब है कि आए दिन ई-रिक्शा थ्री व्हीलर और दुपहिया वाहन फिसल कर गिरने की घटनाएं होती रहती हैं।
नवाब पार्षद के अनुसार उन्होंने अपनी ओर से इस सड़क की मरम्मत कराने के संबंध में नगर निगम से लेकर लोक निर्माण विभाग तक से गुहार लगाई है। लेकिन अभी तक इस सड़क की मरम्मत का कोई प्रस्ताव भी नहीं बन पाया है फिरोज नगर निवासी अजीमुद्दीन का कहना है कि लिसाड़ी मुख्य मार्ग पर गड्ढों को भरे जाने और गलियों में खड़ंजे बनाने की जरूरत है। खत्ता रोड निवासी सलीम सिद्दीकी बताते हैं कि वार्ड-90 के अंतर्गत इस रोड पर पिछले कई दशक से बस्ती के बीच में डंपिंग यार्ड बनाया गया है। जिसको हटवाने के लिए मोहल्ले के लोग आंदोलन कर चुके हैं। नगर निगम के अलावा प्रशासन के स्तर पर भी काफी पत्राचार किया जा चुका है। व्यक्तिगत रूप से अधिकारियों से अनुरोध किया जा चुका है, लेकिन इस दिशा में कोई कदम नहीं उठाया जा सका है, जिसके कारण मोहल्ले के लोग विभिन्न संक्रामक रोगों से ग्रस्त रहते हैं। ऊंचा सद्दीक नगर निवासी मोहम्मद इरफान बताते हैं कि केले वाली गली के आसपास पाइप लाइन कई दशक पुरानी होने के कारण जर्जर अवस्था में आ चुकी है। यहां पाइप लाइन फटने के कारण पानी की सप्लाई में हमेशा गंदगी और बदबूदार पानी आता रहता है। क्षेत्र की स्थिति यह है कि लोग अपने घर की छतों पर रखी हुई टंकियों को महीने में एक बार सफाई कराने के लिए मजबूर होते हैं। क्योंकि टंकी के अंदर मटमैला पानी बदबूदार होने के कारण उसमें कीचड़ आकर टंकी में जमा हो जाती है। वहीं पूर्व पार्षद हाजी सरताज का सीधा-सीधा आरोप है कि मौजूदा पार्षद ने अपने पांच साल के कार्यकाल के दौरान इस क्षेत्र में कोई काम नहीं कराया है। जो काम नजर आ रहा है, उसके लिए हाजी सरताज विधायक निधि का प्रयोग होने की बात कहते हैं।
पार्षद का कथन: नगर निगम में वार्ड-90 का प्रतिनिधित्व कर रहे नवाब पार्षद का कहना है कि उन्होंने वार्ड में 28 नलकूप लगवाकर जलापूर्ति को सुचारू रखने की दिशा में कदम उठाया है। ऊंचा सादिक नगर में ज्यादातर गलियां नालियां खड़ंजा आदि का काम कराया है। वार्ड में कर्मचारियों के साथ पारिवारिक संबंध बनाए हैं।
नगर निगम के अलावा भी अगर वार्ड का कोई निवासी किसी काम के लिए किसी भी वक्त आया है, उसकी सेवा में तत्पर रहते हैं। उनका कहना है कि वार्ड के लोगों ने उन्हें दो बार लगातार पार्षद के रूप में सेवा करने का अवसर दिया है। जनता के इसी भरोसे को कायम रखने और क्षेत्र के निरंतर विकास के लिए वे तीसरी बार जनता की अदालत में जाने की तैयारी कर रहे हैं।