आगरा न्यूज़: यात्रियों को आकर्षित करने के लिए एयरलाइंस कंपनियां कई तरह के आकर्षक ऑफर देती रहती हैं. अब भारतीय विमानन कंपनियां सिर्फ केबिन बैग के साथ सफर करने पर टिकट सस्ता करने के ऑफर पर विचार कर रही है. इस योजना से कारोबारी और कॉरपोरेट अधिकारियों जैसे 40 फीसदी घरेलू मुसाफिरों को लाभ होगा. ऑनलाइन ट्रेवल ऑपरेटर के एक अधिकारी के मुताबिक, फिलहाल भारतीय विमानन कंपनियां यह विचार कर रही हैं कि इस योजना को किन रूट पर दिया जा सकता है.
देश की घरेलू विमानन कंपनी इंडिगो का कहना है कि वह इस योजना पर विचार कर रही है. उसने कहा, इस योजना का सबसे ज्यादा फायदा छोटे और मझोले उद्यमियों को होगा. इंडिगो का कहना है कि वह यात्रियों की जरूरतों को पूरा करने के लिए नियमों में लचीलापन लाने के लिए समय-समय पर समीक्षा करती रहेगी.
इससे पहले साल 2017 में भी ऐसी ही योजना लाने के प्रयास किए गए थे, लेकिन उसमें कंपनियों को सफलता नहीं मिली थी. एविएशन रेगुलेटर डायरेक्टरेट जनरल ऑफ सिविल एविएशन ने इसे खारिज कर दिया था. साल 2017 में यह मामला दिल्ली हाईकोर्ट तक पहुंच गया था. तब अदालत ने एयरलाइंस के पक्ष में फैसला सुनाया था. फिलहाल ज्यादातर घरेलू रूट पर कम किराए का ऑफर 8 किलोग्राम केबिन बैग और 15-25 किलोग्राम वजन वाले चेक-इन सामानों तक है. कोई भी भारतीय कंपनी सिर्फ केबिन बैग पर किराए का ऑफर नहीं देती है, जबकि कई देशों में ऐसी सुविधा है.
विमानन क्षेत्र को बेहतर बनाने का प्रयास क्षेत्रीय हवाई संपर्क योजना उड़ान (उड़े देश का आम नागरिक) के लिए अब तक 2,360 करोड़ रुपये की राशि दी गई है. नौ हेलीपोर्ट और दो वॉटर एयरोड्रोम सहित 73 हवाईअड्डों से जुड़े 460 से अधिक उड़ान मार्गों को चालू कर दिया गया है. लगभग 76 मार्ग उत्तर-पूर्व को जोड़ते हैं और पर्यटन मंत्रालय 50 से अधिक मार्गों को भी वित्तपोषित करता है.
यात्री संख्या बढ़ेगी
केंद्रीय पर्यटन मंत्री जीके रेड्डी ने बीते दिनों कहा था, जी-20 की बैठकों और अन्य कारकों के कारण इस साल के अंत तक हवाई यात्रियों की संख्या में और वृद्धि होने की उम्मीद है. बता दें कि भारत दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा विमानन बाजार है और कोरोना महामारी से इस क्षेत्र पर काफी प्रभाव पड़ने के बाद अब हवाई यातायात बढ़ रहा है.
अंतरराष्ट्रीय हवाई यात्रियों की संख्या में इजाफा
भारत में घरेलू यात्रियों की संख्या 2014 में 60 मिलियन (6 करोड़) से बढ़कर 2020 में कोरोना से पहले 143 मिलियन (14.3 करोड़) हो गई थी. अंतरराष्ट्रीय हवाई यात्रियों में भी 23 मिलियन (2.30 करोड़) से 35 मिलियन (3.50 करोड़) तक वृद्धि हुई है. 12 फरवरी को घरेलू हवाई यात्री यातायात 2,935 उड़ानों पर 4,37,800 पर पहुंच गया.