नोएडा: नया नोएडा (दादरी नोएडा गाजियाबाद इनवेस्टमेंट रीजन) बुलंदशहर और दादरी के 88 गांवों की जमीन अधिग्रहीत कर बसाया जाएगा. इसका मास्टर प्लान 2041 बनाया जा रहा है. ये करीब 21 हजार हेक्टेयर (203 वर्गकिमी) में बसाया जाएगा. इसके मास्टर प्लान को मंजूरी के लिए 13 अगस्त को होने वाली बोर्ड बैठक में रखा जाएगा.
लैंड पूल के जरिए भी किसानों की जमीन अधिग्रहीत की जाएगी. 21 हजार हेक्टेयर में से करीब 8 हजार हेक्टेयर जमीन औद्योगिक निवेश के लिए रिजर्व की गई है. यहां पहला आने वाला ग्रुप अडाणी का होगा. जो 5 हजार करोड़ का निवेश करेगा. इसके अलावा रेजिडेंशियल,कॉमर्शियल, पीएसपी इंस्टीट्यूशनल, फैसिलिटी / यूटिलिटी, इंडस्ट्री, ग्रीन पार्क / ओपेन एरिया, रिक्रेशनल और वाटर बॉडी, ट्रैफिक और ट्रांसपोटेशन भी यहां होगा. इसकी कुल आबादी 6 लाख मानी जा रही है. जिसमें 3.5 लाख की आबादी माइग्रेट होगी. जिनके लिए ईडब्ल्यूएस, एलआईजी, एमआईजी और एचआईजी की यूनिट बनाई जाएंगी.
पहले फेज में विकास के लिए खर्च होंगे 8 हजार 500 करोड़ रुपये नए नोएडा को चार चरणों में विकसित किया जाएगा. पहले चरण में बुनियादी ढांचे के विकास के लिए 8,500 करोड़ रुपये से अधिक की जरूरत है. जिसमें 3,000 हेक्टेयर जमीन शामिल है. पहले चरण में अनुमानित रूप से 40,000 करोड़ रुपये का निवेश किया जाएगा. इससे यहां 50,000 से अधिक लोगों के लिए रोजगार के अवसर पैदा होंगे.
1000 करोड़ रिजर्व रखे
नए नोएडा के भूमि अधिग्रहण और आंतरिक विकास के लिए 1,000 करोड़ रुपये बजट आवंटित किया हैं. यह राशि इस साल फरवरी में यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के दौरान साइन किए गए एमओयू के लिए नोएडा प्राधिकरण की भूमि आवश्यकताओं को पूरा करेगी. अधिकारियों के अनुसार, मांग करने वाली कंपनियों को ह्लस्मार्टह्व भौतिक बुनियादी ढांचे वाले शहर डीएनजीआईआर में आवंटन दिया जाएगा.
ये शिकागो इंडस्ट्रियल हब की तरह बनेगा
शिकागो इंडस्ट्रियल हब मुख्यता सड़क, रेलवे हवाई मार्गों से जुड़ा हुआ है. जिससे यहा निवेशकों को बेहतर विकल्प मिलते हैं. इसी तरह नए नोएडा की भी सामरिक क्षमता है.
● बुलंदशहर की ओर जाने वाले जीटी रोड व हावड़ा की ओर जाने वाली रेलवे लाइन के मध्य स्थित है.
● वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर दादरी से मुम्बई तक है, ईस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर लुधियाना से कोलकाता तक खुर्जा प्रस्तावित.
● खुर्जा से एक एसपीयूआर दादरी तक निर्मित की जाएगी. ईस्टर्न व वेस्टर्न कारीडोर का कॉमन प्वाइंट होगा.
● हवाई सेवा और कार्गो के लिए जेवर एयरपोर्ट है.