श्रद्धालुओं से भरी बसके ऊपर पलटा गिट्टियों (बजरी) से भरा डंपर ट्रक,12 लोगों की मौत, 10 अन्य घायल

Update: 2024-05-26 16:21 GMT

उत्तरप्रदेश : शाहजहांपुर से पड़ोसी राज्य उत्तराखंड में स्थित पूर्णागिरि मंदिर में दर्शन के लिए जा रहे श्रद्धालुओं की बस के ऊपर शाहजहांपुर जिले में गिट्टियों (बजरी) से भरा डंपर ट्रक पलट जाने से हुए हादसे में मृतकों की संख्या बढ़कर 12 हो गयी है। पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने रविवार को यह जानकारी दी।राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हादसे में लोगों की मौत होने पर शोक संवेदना व्यक्त की। पुलिस अधीक्षक (एसपी) अशोक कुमार मीणा ने रविवार को सीतापुर जिले के कमलापुर थाना क्षेत्र के रहने वाले श्रद्धालु शनिवार रात एक निजी बस से पूर्णागिरी मंदिर दर्शन करने के लिए जा रहे थे।उन्होंने बताया कि बस चालक ने रात में खुटार थाना क्षेत्र के हजियापुर में एक ढाबे पर बस रोकी जिसके बाद कुछ यात्री ढाबे पर खाना खाने चले गए जबकि कुछ लोग बस में ही बैठकर जलपान करने लगे। उन्होंने बताया कि इसी बीच गोला की तरफ से आ रहा गिट्टियों से भरा डंपर अनियंत्रित होकर बस के ऊपर पलट गया और इस हादसे में 12 लोगों की मौत हो गई तथा नौ अन्य लोग घायल हो गए।


घटना रात करीब 11 बजे की बताई जा रही है। मीणा ने बताया कि मृतकों की पहचान सुमन देवी (36), अजीत (15), आदित्य (आठ), रामगोपाल (48), रोहिणी (20), प्रमोद (30), छुटकी (50), शिव शंकर (48), सीमा (30) सुधांशु (सात) एवं सोनवती (45) के रूप में की गई है। बाद में इलाज के दौरान बिंद्रा (50) की भी मौत हो गई।पुलिस अधीक्षक ने बताया कि घटना में घायल अन्‍य नौ मरीजों का राजकीय मेडिकल कॉलेज में उपचार किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि डंपर चालक हादसे के बाद मौके से फरार हो गया जिसकी तलाश की जा रही है। मुख्यमंत्री आदित्यनाथ ने मृतकों के शोक संतप्त परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त की और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की।

उन्होंने जिला प्रशासन के अधिकारियों को घायलों का समुचित उपचार सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। ग्रामीणों के अनुसार, सीतापुर जिले के थाना कमलापुर के बडा जेठा गांव के निवासियों ने उत्तराखंड में पूर्णागिरि माता के दर्शन के वास्ते जाने के लिए चंदा करके एक बस की थी और यह लोग शनिवार शाम छह बजे बस से रवाना हुए थे।प्रत्यक्षदर्शी बताते हैं कि सूचना देते ही पुलिस कुछ देर में मौके पर पहुंच गई और रात में बचाव और राहत कार्य मोबाइल फोन की टॉर्च की रोशनी तथा वाहनों की लाइटों के बीच किया गया। पुलिस के मुताबिक, इस हादसे में 12 वर्षीय यशराज एक सीट के बीच में दबा गया था और बस के अंदर पुलिस अधीक्षक मीणा जब घुसे तो उन्हें कुछ आवाज सुनाई दी।इसके बाद उन्होंने स्वयं बजरी हटाई तो उसके अंदर एक लड़का दबा मिला। पुलिस ने बताया कि लड़का बजरी तथा सीट के बीच में फंसा था और दो घंटे के अथक प्रयास के बाद उस लड़के को सकुशल निकाला जा सका। हालांकि हादसे में यशराज के पिता प्रमोद की मौत हो गई।
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