लकड़ी विक्रेताओं पर मनमानी और दबंगई के आरोप में डोम समाज (चौधरी परिवार) ने सोमवार सुबह महाश्मशान मणिकर्णिका घाट पर शवदाह को रोक दिया। उनका कहना था कि जब तक समस्या हल नहीं होती है, तब तक दाह संस्कार का काम शुरू नहीं करेंगे। सूचना पर पहुंची पुलिस ने डोम समाज के लोगों को समझाया। करीब 40-45 मिनट बाद शव दाह शुरू हो सका।
दरअसल, रविवार को मणिकर्णिका घाट पर डोम समाज और स्थानीय लकड़ी विक्रेताओं के बीच विवाद हुआ था। लकड़ी विक्रेताओं द्वारा शवदाह करने वाले स्थलों और प्लेटफॉर्म पर लकड़ी रखने से मना करने के बाद विवाद हुआ। आरोप है कि शवदाह स्थल पर लकड़ी रखे जाने का जब डोम समाज ने विरोध किया तो लकड़ी विक्रेताओं ने अमर्यादित व्यवहार किया।
डोम राज परिवार के शालू चौधरी ने फोन पर बताया कि रविवार को उनके समाज के लोगों के साथ अरुण सिंह नामक लकड़ी व्यापारी ने दुर्व्यवहार किया। अपशब्द कहे और धमकी भी दी। इस घटना के विरोध में डोम समाज एकजुट हुआ और सोमवार सुबह 11 बजे दाह संस्कार रोक दिया।
लोग डीएम समेत अन्य शीर्ष अधिकारियों को बुलाने की मांग पर अड़ गए। सूचना पर चौक थाना प्रभारी शिवाकांत मिश्रा मौके पर पहुंचे। उन्होंने डोम राजा परिवार के सदस्यों से बातचीत करके उन्हें समझाया। चौक थाना प्रभारी ने बताया कि डोम राजा परिवार के सदस्यों से बातचीत की गई है। शवदाह का काम शुरू करा दिया गया है। मंगलवार को बैठ कर समस्या का स्थायी समाधान करा लिया जाएगा।