गीता हत्याकांड में कंपनी की महिला कर्मचारी भी गिरफ्तार
जब गीता का दफ्तर में गला दबाया तो भी योगिता मौजूद थी
मेरठ: इंदिरानगर में निजी कम्पनी की महिला कर्मचारी गीता (32) की हत्या में उसकी सहयोगी योगिता रावत भी शामिल थी. उसके सामने ही साजिश रची गई. मुख्य आरोपी व कम्पनी के मालिक अभिनव ने जब गीता का दफ्तर में गला दबाया तो भी योगिता मौजूद थी.
साथ ही उसका शव चादर में लपेट कर बांधने से लेकर हरदोई में शव फेंकने की पूरी जानकारी उसे थी. पुलिस ने हत्याकाण्ड के खुलासे से पहले उससे जब पूछताछ की थी तो वह सब कुछ छिपाती रही थी. हत्या के मुख्य आरोपी अभिनव व तीन अन्य की गिरफ्तारी के बाद उसकी भूमिका सामने आने पर गाजीपुर पुलिस ने योगिता को भी सुबह गिरफ्तार कर लिया. इन पांचों आरोपितों को जेल भेज दिया गया है. डीसीपी उत्तरी अभिजीत आर शंकर के मुताबिक हरदोई निवासी अभिनव वर्मा, वक्तावर पुरवा का अर्जुन वर्मा, बेहटा का शिवम वर्मा, बुद्धेश्वर के कमल किशोर को हत्या के आरोप में गिरफ्तार किया गया था. अभिनव की कम्पनी में ही गीता काम करती थी. गीता का उससे प्रेम सम्बन्ध था. दोनों के बीच एक युवक से बात करने और रुपये देने का दबाव बनाने को लेकर गीता और अभिनव में अक्सर विवाद होने लगा था. इसको लेकर ही अभिनव ने को दफ्तर में गीता की हत्या कर दी थी. कर्मचारियों अर्जुन, शिवम, कमल और योगिता की मदद से गीता के शव को चादर में लपेट कर गाड़ी से हरदोई ले गये थे. वहां बोरे में ईंटे, बालू-मौरंग भरकर उसे शव से बांध कर गोमती नदी में फेंक दिया था. अभिनव के खुलासे के बाद पुलिस ने शव बरामद कर लिया था.
महिला सहयोगी पुलिस को बरगलाती रही: एसीपी गाजीपुर विकास जायसवाल ने बताया कि योगिता रावत मूल रूप से हरदोई देहात कोतवाली क्षेत्र के पेनीपुरवा की रहने वाली है. यहां वह इंदिरा नगर ए ब्लॉक में रह रही थी. अभिनव ने पुलिस को बताया कि योगिता रावत हत्या के समय उनके साथ थी. इस बयान पर पुलिस अधिकारी अवाक रह गये. वजह यह थी कि योगिता से पुलिस ने दो बार काफी देर तक पूछताछ की थी लेकिन वह उन्हें बरगलाती रही थी. पुलिस ने उसे हत्या के साक्ष्य छिपाने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया है.