उत्तरप्रदेश | उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग समूह ‘ग’ के पदों पर भर्ती प्रक्रिया को और पारदर्शी बनाने के लिए एजेंसियों का चयन नए सिरे से करने का फैसला किया है. साफ-सुथरी और विशेषज्ञता वाली एजेंसियों को काम दिया जाएगा, जिससे तय समय के अंदर परीक्षाएं कराते हुए भर्ती प्रक्रिया पूरी की जा सके.
अधीनस्थ सेवा चयन आयोग हर साल 10 से 15 हजार पदों पर भर्तियां करता है. इसमें कनिष्ठ सहायक से लेकर तकनीकी पद भी शामिल हैं. आयोग भर्ती परीक्षाओं को पारदर्शी प्रक्रिया से कराने के लिए एजेंसियों को बदलना चाहता है. इसीलिए नए सिरे से एजेंसियों के चयन की प्रक्रिया शुरू की गई है.
इसके लिए देश की नामी-गिरामी एजेंसियां खोजी जा रही हैं. चयन प्रक्रिया पूरी करने के लिए ऑफलाइन ढंग ओएमआर आधारित परीक्षा कराने वालों को आमंत्रित किया गया है. एजेंसियों की चयन प्रक्रिया नवंबर तक पूरी कर ली जाएगी. उन्हें एजेंसियों का चयन किया जाएगा, जिनके ऊपर कोई दाग नहीं होगा. दागियों को इससे दूर रखा जाएगा.
अधीनस्थ सेवा चयन आयोग हर साल प्रारभिक अर्हता परीक्षा (पीईटी) भी कराता है. इसमें 30 से 35 लाख के करीब परीक्षार्थी शामिल होते हैं. इसीलिए उसे बढ़ी एजेंसियों की जरूरत पड़ती है. इसी तरह 8000 से 10 हजार पदों पर भर्ती के लिए भी उसे बड़ी एजेंसियों की जरूरत पड़ती है.
निर्वाचन आयोग ने किया वृद्ध मतदाताओं का सम्मान
अवसर पर प्रदेश की सभी विधानसभाओं में वृद्ध व शतायु मतदाता सम्मान समारोह आयोजित किया गया.
इसमें वृद्ध मतदाताओं का माल्यार्पण कर और भारत निर्वाचन आयुक्त के सम्मान पत्र देकर सम्मानित किया गया. समारोह में वृद्ध, शतायु मतदाताओं का हालचाल व मतदान का अनुभव भी जाना गया. मुख्य निर्वाचन अधिकारी नवदीप रिणवा ने बताया कि भारत निर्वाचन आयोग की अनूठी पहल के माध्यम से चुनावी प्रक्रिया में वृद्ध मतदाताओं के निरंतर योगदान और लोकतंत्र को मजबूत बनाने में अपना अमूल्य योगदान देने के मद्देनज़र वृद्ध मतदाताओं को सम्मानित किया जा रहा है.