पाली। एक 36 वर्षीय महिला अपने दो बेटों समेत पति को छोड़कर पीहर आ गई और बैठ गई। क्योंकि शादी के 15 साल बाद भी उसका पति उसके चरित्र पर शक करता था। वह आए दिन ताने मारता था। इससे वह इतनी दुखी हो गई कि वह अपनी 14 साल की बेटी और 12 साल के लड़के को लेकर पीहर आ गई। लेकिन तभी कुछ ऐसा हुआ कि वह खुशी-खुशी अपनी मर्जी से अपने पति के घर चली गई। यह कहानी पाली के हाउसिंग बोर्ड में रहने वाली एक महिला की है। दरअसल पति के शक करने की आदत से परेशान महिला पिछले डेढ़ साल से अपने बच्चों के साथ हाउसिंग बोर्ड में रह रही थी. और फैमिली कोर्ट में पति से तलाक की अर्जी दाखिल कर दी। लेकिन जनवरी 2022 में उनके 40 वर्षीय सुरक्षा गार्ड पति को दिल का दौरा पड़ा।
उन्हें बांगड़ अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा। जब उसके पति धन्नो (बदला हुआ नाम) को इस बात का पता चला तो वह अस्पताल पहुंची। इस मुश्किल की घड़ी में पति को अपने पास देख लवेश (बदला हुआ नाम) की आंखों से भी खुशी के आंसू छलक पड़े। हालत बिगड़ने पर युवक को जोधपुर रेफर कर दिया गया। जहां उन्हें कुछ दिनों तक भर्ती रहना पड़ा था। ऐसे में उनकी पत्नी ने उनकी खूब सेवा की. ताकि वह ठीक होकर घर आ जाए। इसके बाद वह वापस अपने घर आ गई और रहने लगी। 11 जनवरी 2023 को पाली कोर्ट में राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया। जिसमें महिला के अधिवक्ता अरिहंत चोपड़ा, प्रवीण साहू व युवक के अधिवक्ता महेश सिंह ने दोनों पति-पत्नी को समझाया और बच्चों की खातिर तलाक नहीं लेने को कहा. इस बात पर दोनों राजी हो गए और फिर से साथ रहने लगे।